Tuesday, 30 August 2011

वितिय कंपनी के शाखा प्रबंधक को एक माह की सज


मंडी। जिला उपभोक्ता फोरम ने एक वितिय कंपनी की नेरचौक शाखा प्रबंधक को एक माह के साधारण कारावास और एक हजार रूपये जुर्माने की सजा सुनाई है। जुर्माना राशी निश्चित समय में अदा न करने पर प्रबंधक को 7 दिन का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा। प्रबंधक की गिरफ्तारी के वारंट जारी कर दिए गए हैं। जिला उपभोक्ता फोरम कुल्लू के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्यों ने कुल्लू के बंदल (पुईड) निवासी सुभाष पुत्र देवेन्द्र और देवेन्द्र पुत्र डोले राम की शिकायत पर सुनाए आदेशों की मानना न करने पर महिन्द्रा एंड महिन्द्रा कंपनी की नेरचौक शाखा के शाखा प्रबंधक के खिलाफ उक्त फैसला सुनाया। उपभोक्ता ने कंपनी से वाहन खरीदने को लिए लोन की पूरी राशी चुका देने के बाद एन ओ सी की मांग की थी। एन ओ सी जारी न करने पर उन्होने फोरम में शिकायत दर्ज करवाई थी। फोरम ने आदेश पारित करके कंपनी को उपभोक्ता के पक्ष में 29000 रूपये की राशी 9 प्रतिशत ब्याज सहित अदा करने के अलावा 2000 रूपये शिकायत व्यय भी अदा करने के आदेश दिए थे। वहीं पर फोरम ने कंपनी को उपभोक्ता की एन ओ सी एक माह में जारी करने को कहा था। ऐसा न करने पर कंपनी को प्रतिदिन का 100 रूपये जुर्माना फोरम के आदेश से एन ओ सी जारी करने तक अदा करने थे। लेकिन कंपनी ने फोरम के उक्त आदेशों की पालना नहीं की जिसके कारण उपभोक्ता ने उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम की धारा 27 के तहत इजराय (एग्जीकयुशन) याचिका दायर की थी। फोरम ने याचिका के फैसले में कहा कि कंपनी ने कई बार फोरम में राशी अदा करने के आश्वासन दिए लेकिन ऐसा जाहिर होता है कि कंपनी ने जानबूझ कर आदेशों की पालना नहीं की। जिसके कारण फोरम ने शाखा प्रबंधक को उक्त सजा का फैसला सुनाया। फोरम ने प्रबंधक की गिरफ्तारी के वारंट भी जारी कर दिए हैं।

Monday, 29 August 2011

मेडी क्लेम देरी से अदा करने पर 1000 रूपये हर्जाना


मंडी। जिला उपभोक्ता फोरम ने मेडी क्लेम देरी से अदा करने को सेवाओं में कमी मानते हुए बीमा कंपनी को उपभोक्ता के पक्ष में 1000 रूपये हर्जाना अदा करने के आदेश दिए। इसके अलावा उपभोक्ता के पक्ष में 1000 रूपये शिकायत व्यय भी अदा करना होगा। जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्य रमा वर्मा व लाल सिंह ने लोअर समखेतर निवासी समीर महेन्द्रु की शिकायत को उचित मानते हुए उनके पक्ष में रिलायंस जनरल इंश्योरेंस को उक्त राशी अदा करने के आदेश दिए। अधिवक्ता तरूण पाठक के माध्यम से फोरम में दायर शिकायत के अनुसार उपभोक्ता ने कंपनी से रिलायंस हैल्थ वाईज पालिसी ली थी। पालिसी की अवधी के दौरान ही उपभोक्ता को उपचार के लिए मंडी के मांडव अस्पताल में उपचाराधीन रहना पडा। उपभोक्ता ने अपने उपचार की सूचना कंपनी को देकर सभी संबंधित दस्तावेज मुहैया करवा दिए थे। लेकिन कंपनी ने मुआवजा तय नहीं किया। जिसके चलते उन्होने फोरम में शिकायत दर्ज करवाई थी। फोरम ने अपने फैसले में कहा कि कंपनी ने फोरम में शिकायत दर्ज करवाने के बाद उपभोक्ता को उनके मुआवजे की राशी का जारी किया गया। जबकि कंपनी यह बताने में नाकाम रही कि उपभोक्ता का मुआवजा तय करने में देरी क्यों की गई। मुआवजा देरी से तय करके उपभोक्ता को अदा करने को फोरम ने सेवाओं में कमी करार दिया। जिसके चलते फोरम ने उपभोक्ता को पहुंची परेशानी के बदले कंपनी को हर्जाना और शिकायत व्यय अदा करने का फैसला सुनाया।

Saturday, 27 August 2011

बैंक की गल्ती से साढे 24 लाख की राशी किसी और के एकाउंट में जमा


मंडी। शहर में स्थित एक राष्ट्रियकृत बैंक की गल्ती से एक व्यक्ति के एकाउंट में करीब साढे 24 लाख रूपये की राशी चली गई। उक्त व्यक्ति ने बैंक की गल्ती का भरपूर फायदा उठाकर इसमें से करीब 11 लाख की रकम खाते से निकाल भी ली। घटना का पता लगते ही पुलिस ने मामला दर्ज कर आरोपी को हिरासत में ले लिया है। जिससे पांच दिन के पुलिस रिमांड के दौरान पुछताछ जारी है। जानकारी के अनुसार पंजाब नेशनल बैंक की स्कूल बाजार शाखा ने मोती बाजार शाखा के पास विभिन्न ग्राहकों के 19 चैक भुगतान के लिए सौंपे। लेकिन बैंक की गल्ती से इन चैकों की 24 लाख 67 हजार 754 रूपये की राशी सदर उपमंडल के गमधोल (साईगलू) निवासी कपिल शर्मा पुत्र कृषन गोपाल के खाते में चली गई। जब कपिल शर्मा को यह पता लगा कि उसके खाते में इतनी अधिक राशी आ गई है तो हालांकि यह जानते हुए कि यह उसका पैसा नहीं है उसने अलग- अलग जगहों से एटीएम और डेबिट कार्ड के माध्यम से राशी निकालनी शुरू कर दी। विगत 23 अगस्त तक कपिल शर्मा इस राशी में से दस लाख 98 हजार 898 रूपये की राशी निकाल चुका था। इस मामले का पता चलते ही पंजाब नेशनल बैंक की मोती बाजार शाखा के प्रमुख प्रबंधक बी एस पठानिया ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई। जिला पुलिस अधीक्षक पी डी प्रसाद ने मामला दर्ज होने की पुष्टी करते हुए बताया कि सदर थाना पुलिस ने भादंसं की धारा 420 और 406 के तहत मामला दर्ज किया है। इधर, पुलिस ने आरोपी कपिल शर्मा को हिरासत में ले लिया है। जिसे शुक्रवार को अदालत में पेश किया गया। जहां न्यायिक दंडाधिकारी प्रथम श्रेणी कोर्ट नं 1 प्रवीण चौहान के न्यायलय ने आरोपी से पुछताछ शेष होने के कारण उसे 5 दिन के पुलिस रिमांड में भेज दिया है। मामले की जांच कर रहे अन्वेषण अधिकारी विजय कुमार ने बताया कि इस बारे में पुलिस आरोपी से खाते में निकाले गई राशी और इस मामले में संलिप्त अन्य लोगों के बारे में गहन तहकीकात में जुटी है।


मिडिएशन सेंटर का उदघाटन शनिवार को


मंडी। हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायलय के वरिष्ठ न्यायधीश न्यायमुर्ति आर बी मिश्रा शनिवार को जिला एवं सत्र न्यायलय में मंडी जिला के मिडियेशन सेंटर का उदघाटन करेंगे। मिडियेशन कमेटी के पैर्टन इन चीफ न्यायमुर्ति मिश्रा दोपहर बाद सायं 4 बजे न्यायलय परिसर में बनाए गए मिडियेशन सेंटर का उदघाटन करेंगे। जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह ने बताया कि इस अवसर पर प्रदेश लीगल सर्विसेज अथारटी के सदस्य सचिव जे एस महनतान और प्रदेश उच्च न्यायलय के मिडियेशन सेंटर के समन्वयक सी बी बारोवालिया भी मौजूद होंगे। उन्होने बताया कि मंडी और कुल्लू जिलों में नियुकत किए गए मिडियेटरों के प्रशिक्षण के लिए 3 सितंबर से 8 सितंबर तक जिला न्यायलय परिसर में प्रशिक्षण कार्यक्रम सुनिश्चित किया गया है। नियुक्त किए गए मिडियेटरों का प्रशिक्षण पहले से प्रशिक्षित मिडियेटर करेंगे। उन्होने बताया कि मंडी के मिडियेशन सेंटर के लिए अधिवक्ता डी सी शर्मा, अमर चंद वर्मा, ललित कपूर, समीर कश्यप, दिग्विजय सिंह कटोच, दिनेश शर्मा, प्रेम सिंह ठाकुर, एम एल शर्मा, महेश चंद्र शर्मा, एम पी सहगल, हेमन्त कपूर, टी आर पठानिया, तारा चंद शर्मा, गीतांजली शर्मा और राजेश शर्मा को मिडियेटर के तौर पर नियुक्त किया गया है।

चरस सहित पकडे गए आरोपी को 14 साल की कठोर कारावास और 1,40,000 रूपये जुर्माने की सजा


मंडी। चरस सहित पकडे गए एक आरोपी को अदालत ने 14 साल के कठोर कारावास और 1,40,000 रूपये जुर्माने की सजा का फैसला सुनाया है। आरोपी के जुर्माना राशी निश्चित समय में अदा न करने पर उसे दो साल का अतिरिक्त साधारण कारावास भुगतना होगा। अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायधीश राकेश कैंथला के विशेष न्यायलय ने जिला कुल्लू के कटेह बीर (बंजार) निवासी दुनी चंद पुत्र भाग सिंह के खिलाफ मादक एवं नशीले पदार्थ अधिनियम की धारा 20 के तहत चलाए गए अभियोग में उक्त फैसला सुनाया। अभियोजन पक्ष के अनुसार पुलिस का दल ए एस आई राम लाल की अगुवाई में खोती नाला के पास तैनात था। इसी दौरान थलौट की ओर से आ रहे एक व्यक्ति ने पुलिस को देखकर जल्दी-2 चलने की कोशीश की। पुलिस ने संदेह होने पर उक्त व्यक्ति का पीछा करके उसे काबू कर उसे तलाशी के लिए रोका तो उसके बैग से 4 किलो 500 ग्राम चरस बरामद हुई। पुलिस ने आरोपी को हिरासत में लेकर अदालत में अभियोग चलाया था। अभियोजन पक्ष की ओर से उप जिला न्यायवादी एस एस कौंडल ने अदालत में 8 गवाहों के बयान दर्ज करके मामले को साबित किया। वीरवार को सजा की अवधी पर हुई सुनवाई के दौरान बचाव पक्ष का कहना था कि यह आरोपी का पहला अपराध है जिसके कारण उसके प्रति नरम रूख अपनाया जाए। जबकि अभियोजन पक्ष ने आरोपी को कडी सजा देने की दलील दी। अदालत ने अपने फैसले में कहा कि इस तरह के अपराध समाज के बडे हिस्से को प्रभावित करते हैं। इन सामाजिक प्रभावों को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। ऐसे में इन अपराधों के प्रति नरम रूख नहीं अपनाया जा सकता। अदालत ने आरोपी से बरामदशुदा चरस की मात्रा व्यवसायिक होने के कारण उक्त कारावास और जुर्माने की सजा का फैसला सुनाया। 

ड्राई क्लीनर को उपभोक्ता के पक्ष में 8500 रूपये अदा करने के आदेश


मंडी। कोट की धुलाई एक ड्राई क्लीनर को उस समय भारी पड गई जब जिला उपभोक्ता फोरम ने उसकी सेवाओं में कमी आंकते हुए उपभोक्ता के पक्ष में 8500 रूपये अदा करने के आदेश दिए। जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्यों लाल सिंह व रमा वर्मा ने जोगिन्द्रनगर के लक्ष्मी बाजार निवासी दुनी चंद भारद्वाज पुत्र टिभलू राम की शिकायत को उचित मानते हुए जोगिन्द्रनगर के सब्जी मंडी के पास सथित न्यू लाईक ड्राई क्लीनर को उपभोक्ता के पक्ष में कोट की कीमत 3500 रूपये 9 प्रतिशत ब्याज दर सहित अदा करने के आदेश दिए। इसके अलावा ड्राई क्लीनर की सेवाओं में कमी के कारण उपभोक्ता को हुई परेशानी के बदले 2000 रूपये हर्जाना और 2000 रूपये शिकायत व्यय भी अदा करने को कहा। अधिवक्ता पी आर शर्मा के माध्यम से फोरम में दायर शिकायत के अनुसार उपभोक्ता ने 2 दिसंबर 2009 को अपना कोट ड्राई कलीन के लिए दिया था। जिसे उन्हे 80 रूपये चुकाने पर 7 दिसंबर 2009 को पैक करके सौंप दिया गया। उपभोक्ता ने कोट को अपने घर में खोल कर देखा तो उसे पता लगा कि उसे कोई और कोट दे दिया गया है। जिस पर उपभोक्ता ने ड्राई क्लीनर से अपना कोट मांगा लेकिन उन्हे अपना कोट नहीं मिल पाया। ऐसे में उपभोक्ता ने ड्राई क्लीनर को लिखित नोटिस भी दिया था। लेकिन कोट न मिलने पर उपभोक्ता ने फोरम में शिकायत दायर की थी। फोरम की कार्यवाही में ड्राई क्लीनर के भाग न लेने पर एकतरफा फैसला सुनाते हुए कहा कि ड्राई क्लीनर की ओर से यह साबित नहीं हो सका कि उन्होने उपभोक्ता का ही कोट उन्हे लौटाया था। जिसके चलते फोरम ने उपभोक्ता के कोट की कीमत ब्याज सहित अदा करने के अलावा हर्जाना और शिकायत व्यय भी अदा करने के आदेश दिए।

अन्ना के आंदोलन की तपिश में गर्माया मंडी नगर


मंडी। देश भर में चल रहे अन्ना के आंदोलन की तपिश में मंडी शहर भी पूरी तरह से गर्मा गया है। अन्ना का साथ निभाने की कसम लेकर पिछले 12 दिन से अनिश्चित कालीन अनशन कर रहे देशराज शर्मा का सवास्थय भी लगातार बिगडता जा रहा है। वहीं पर जिला की विभिन्न संस्थाएं अन्ना के आंदोलन में कूद पडी हैं। छोटी काशी मंडी इन दिनों एक अभूतपूर्व आंदोलन की साक्षी बनी हुई है। अन्ना का आंदोलन कहीं पर कैंडल लाईट जुलूस, कहीं पर क्रमिक अनशन और कहीं पर प्रदर्शनों के रूप में सामने आ रहा है। वहीं जो लोग सक्रिय रूप से भाग नहीं ले पा रहे हैं वे अपने-2 घरों में ही अनशन कर रहे हैं। पिछले 12 दिन से इंजिनियर देशराज शर्मा अनिश्चित कालीन अनशन पर हैं। प्रशासन ने उनके बिगडते सवास्थय को देखते हुए उन्हे अनशन स्थल से उठाकर असपताल में भरती करवाया है। जहां उन्हे ड्रिप लगाया गया है। हालांकि देशराज शर्मा का अनशन लगातार जारी है। वहीं पर सिविल सोसायटी की ओर से किए जा रहा अनशन भी लगातार जारी है। मंगलवार को मंडी प्रेस कलब की ओर से प्रधान बीरबल शर्मा, उपप्रधान रणवीर सिंह ठाकुर, महासचिव समीर कश्यप, कोषाध्यक्ष जितेन्द्र, विनोद भावुक, रजनी के साथ देवेन्द्र नाथ सोमा और राजेश ठाकुर भी अनशन पर बैठे। उनके अनशन से उठने के बाद एनजीओ ने अनशन की कमान संभाली है। बुधवार को एन आर ठाकुर, दिनेश शर्मा, इन्द्र सिंह गांधी, अमरजीत शर्मा, नंद लाल ठाकुर, सरोज राठौर, अंजना शर्मा, उजाला पब्लिक स्कूल की प्रधानाचार्य निशा भारद्वाज, वरिष्ठ नागरिक तेजेन्द्र मल्होत्रा और अमरनाथ खुराना क्रमिक अनशन पर बैठे हैं। इधर, जिला बार एसोसिएशन के अधिवक्ताओं द्वारा न्यायलय परिसर में किए जा रहे अनशन में प्रदीप परमार, अमर चंद वर्मा, रतन लाल वर्मा, नीरज कपूर, आकाश शर्मा, विजय ठाकुर, हेमपाल राणा, रोशन लाल चौहान और भुपेन्द्र शर्मा ने भाग लिया। जबकि इस आंदोलन में उजाला पब्लिक स्कूल के छात्रों ने जुलूस निकालकर जमकर नारेबाजी की।

Saturday, 20 August 2011

बार एसोसिएशन ने अन्ना के समर्थन में प्रदर्शन किया


मंडी। देश भर में भ्रष्टाचार के खिलाफ चल रहे अन्ना हजारे के आंदोलन के समर्थन में जिला बार एसोसिएशन ने शनिवार को प्रदर्शन किया। अधिवक्ताओं ने मंडी शहर में जुलूस निकाल कर केंद्र सरकार के खिलाफ जम कर नारेबाजी की। इधर, जिला बार एसोसिएशन ने अन्ना के आंदोलन के समर्थन में 24 घंटे का अनशन करने का निर्णय लिया है। जिला बार एसोसिएशन के आह्वान पर अधिवक्ताओं ने शनिवार को अदालतों का बाहिष्कार किया। जिसके चलते जिला एवं सत्र न्यायलय के सभी न्यायलयों में प्रौक्सी अधिवक्ताओं के माध्यम से अदालतों की कार्यवाही चली। करीब 11 बजे अधिवक्ताओं का जुलूस अन्ना हजारे के नारे गुंजायमान करता हुआ जिला न्यायलय परिसर से शुरू हुआ। यह जुलूस सेरी मंच, चौहटा बाजार होते हुए न्यायलय परिसर में आकर संपन्न हुआ। अधिवक्ताओं ने अपने प्रर्दशन के दौरान अन्ना हजारे और जन लोकपाल बिल के समर्थन में और केन्द्र सरकार के विरोध में जम कर नारेबाजी की। इस प्रदर्शन में प्रदेश बार कौंसिल के सदस्य देशराज, नरेन्द्र गुलेरिया सहित जिला बार एसोसिएशन के पदाधिकारियों और सैंकडों सदस्यों ने भाग लिया। जिला बार एसोसिएशन के प्रधान धर्म चंद गुलेरिया ने कहा कि अधिवक्ता वर्ग देश में भ्रष्टाचार के खिलाफ चल रहे अन्ना हजारे के जन लोकपाल बिल को लागू करने के आंदोलन का समर्थन करती है। एसोसिएशन के महासचिव विजय ठाकुर ने बताया कि शुक्रवार को लिए गए निर्णय के अनुसार जन लोकपाल बिल की मांग को लेकर आज अदालतों की कार्यवाही का बाहिष्कार किया गया। उन्होने बताया कि मंगलवार को अन्ना के आंदोलन के समर्थन में एसोसिएशन के सदस्य आकाश शर्मा, नीरज कपूर, विजय ठाकुर, अमर चंद वर्मा, कमल सैनी, प्रदीप परमार, मनीष भारद्वाज, रतन लाल, समीर कश्यप, लोकेश शर्मा, सतीश ठाकुर और हरीश ठाकुर न्यायलय परिसर में 24 घंटों के अनशन पर बैठेंगे। जिला बार एसोसिएशन के अधिवकता लोकेश कपूर, मनीष कटोच, पंकज शर्मा, दुनी चंद शर्मा, पितांबर लाल गुप्ता, एस पी परमार और दिनेश शर्मा ने कहा कि जन लोकपाल बिल को अक्षरश: लागू किया जाए।

सदर के विधायक को जमानती वारंट


मंडी। होटल में मिलावटी शराब और चिकन बेचने के दो मामलों में अदालत ने सदर विधानसभा क्षेत्र के विधायक अनिल शर्मा को जमानती वारंट जारी किए हैं। अदालत ने तारीख में पेश न होने पर उनके खिलाफ जमानती वारंट जारी करने के आदेश दिए हैं। अदालत ने विधायक को अब 28 सितंबर के लिए तलब किया है। न्यायिक दंडाधिकारी प्रथम श्रेणी कोर्ट नंबर एक प्रवीण चौहान के न्यायलय ने खाद्य निरिक्षक के माध्यम से मिलावटी खाद्य निरोधक अधिनियम के तहत दायर दो शिकायतों में उक्त आदेश पारित किये। अदालत ने इन मामलों की सुनवाई वीरवार के लिए सुनिश्चित की थी । लेकिन विधायक अनिल शर्मा इन मामलों में आज अदालत में पेश नहीं हुए। उल्लेखनीय है कि साल 2008 में खाद्य निरिक्षक ने शिकायत मिलने पर शहरों के बीचों बीच स्थित विधायक के होटल में औचक छापामारी की थी। इस दौरान होटल में बिक रही सैनोरिटा रेड ग्रेप्स वाईन और मसाला चिकन के नमूने लिए थे। इन नमूनों को परिक्षण के लिए कंडाघाट भेजा गया था। जहां नमूनों की जांच में मिलावट पाई गई थी। खाद्य निरीक्षक ने नमूनों की रिर्पोट के आधार पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी से अदालत में शिकायतें दायर करने की अनुमति मांगी थी। जिसके बाद निरिक्षक ने विधायक के खिलाफ अदालत में शिकायतें दायर की थी। शिकायतों पर संज्ञान लेते हुए अदालत ने विधायक को अदालत में तलब किया था। लेकिन विधायक के अदालत में पेश न होने पर उन्हे जमानती वारंट जारी किए गए हैं। गौरतलब है कि विधायक के खिलाफ एक अन्य मिलावटी खाद्य निरोधक अधिनियम की शिकायत पर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी डी आर ठाकुर के न्यायलय ने भी संज्ञान लिया है। इस मामले में विधायक अदालत में हाजिर होकर अपनी जमानत करवा चुके हैं।

बार एसोसिएशन ने अन्ना का समर्थन किया


मंडी। देश भर में भ्रष्टाचार के खिलाफ चल रहे अन्ना हजारे के आंदोलन के समर्थन में जिला बार एसोसिएशन भी शनिवार को भाग लेगी। बार एसोसिएशन ने इस बारे में एक आपात बैठक करके अन्ना हजारे के जन लोकपाल बिल को समर्थन देने का निर्णय लिया है। एसोसिएशन के महासचिव विजय ठाकुर ने बताया कि शनिवार को जन लोकपाल बिल की मांग को लेकर अदालतों की कार्यवाही का बाहिष्कार किया जाएगा। उन्होने बताया कि एसोसिएशन के सदस्यों से आहवान किया गया है कि अन्ना हजारे के आंदोलन में पूरे देश के साथ अधिवकता वर्ग भी पूरी ताकत से बढ-चढ कर भाग ले।

कुरियन जोसेफ ने न्यायमुर्ति के निधन पर शोक जताया


मंडी। हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायलय के मुख्य न्यायधीश कुरियन जोसेफ ने सेवानिवृत न्यायमुर्ति ए एल वैद्या के निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया है। मुख्य न्यायधीश ने दूरभाष पर न्यायमुर्ति ए एल वैद्या की धर्मपत्नी और पुत्रों सहित परिवार के सदस्यों को शोक संवेदना व्यक्त की। उन्होने कहा कि न्यायमुर्ति वैद्या के न्यायिक सेवा के क्षेत्र में दिए गए उनके योगदान के लिए हमेशा याद रखा जाएगा। 

Thursday, 18 August 2011


न्यायमुर्ति ए एल वैद्या का देहावसान


मंडी। उच्च न्यायलय के सेवानिवृत न्यायमूर्ति ए एल वैद्या का बुधवार को देहांत हो गया। उनका अंतिम संस्कार व्यास नदी के किनारे हनुमान घाट में किया गया। न्यायमूर्ति की अंतिम यात्रा में प्रदेश के अलग- अलग जगहों से आए न्यायधीशों, अधिवक्ताओं, गणमान्य नागरिकों, अधिकारियों सहित सैंकडों लोगों ने भाग लिया। बुधवार को मंडी से संबंध रखने वाले सेवानिवृत न्यायमुर्ति ए एल   वैद्या का चंडीगढ में देहांत हो गया। वह पिछले कुछ अरसे से बीमार चल रहे थे। चंडीगढ से उनके पार्थिव शरीर को मंडी में उनके पैतृक घर में लाया गया। न्यायमुर्ति  वैद्या 76 वर्ष के थे। मंडी में अपनी प्रारंभिक शिक्षा प्राप्त करने के बाद अपने समय के मशहूर एडवोकेट हीरालाल वैद्या के पुत्र ए एल  वैद्या ने भी कानून की ही पढाई करके कुछ समय तक मंडी कोर्ट में वकालत की। जिसके बाद वह न्यायिक अधिकारी के रूप में न्यायिक सेवा में तैनात हुए। वह मंडी में अतिरिकत जिला एवं सत्र न्यायधीश के रूप में भी कुछ समय कार्यरत रहे। इसके बाद वह हिमाचल प्रदेश प्रशासनिक ट्रिब्युनल के अध्यक्ष के तौर पर भी तैनात रहे। वह प्रदेश उच्च न्यायलय के न्यायमुर्ति के पद से सेवानिवृत हुए थे। बुधवार को उनके अंतिम संस्कार में न्यायमुर्ति के बडे पुत्र अतिरिकत जिला एवं सत्र न्यायधीश पुरेन्द्र  वैद्या  ने उनके पार्थिव शरीर को मुखाग्नि दी। प्रदेश उच्च न्यायलय और मुख्य न्यायधीश कुरियन जोसेफ की ओर से रजिस्ट्रार जनरल धर्म चंद चौधरी, जिला एवं सत्र न्यायधीश मंडी वीरेन्द्र सिंह व जिला एवं सत्र न्यायधीश कुल्लू बलदेव सिंह, लेबर कोर्ट के पीठासीन अधिकारी चिरागभानू सिंह, उपायुक्त मंडी और जिला पुलिस अधीक्षक, कई पूर्व जिला एवं सत्र न्यायधीशों सहित मंडी, कुल्लू, कांगडा जिला के न्यायधीशों और अधिवक्ताओं सहित सैंकडों लोगों ने उनकी अंतिम यात्रा में भाग लिया। इधर, जिला बार एसोसिएशन के प्रधान धर्म चंद गुलेरिया की अध्यक्षता में एक शोक सभा आयोजित की गई। जिसमें न्यायमुर्ति के शोक संतप्त परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए एक शोक प्रस्ताव प्रेषित किया गया।

उपभोक्ता के पक्ष में 18000 एक माह में अदा करने के आदेश


मंडी। जिला उपभोक्ता फोरम ने वाहन विक्रेता कंपनी की सेवाओं में कमी आंकते हुए उपभोक्ता के पक्ष में 15000 रूपये हर्जाना एक माह में अदा करने के आदेश दिए। इसके अलावा उपभोक्ता के पक्ष में 3000 रूपये शिकायत व्यय भी अदा करना होगा। जिला उपभोक्ता फोरम कुल्लू के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्यों ने कुल्लू के कीकर बाउली निवासी गुरदर्शन सिंह पुत्र मलकीत सिंह के पक्ष में सिकंद एंड कंपनी चंबाघाट को उक्त हर्जाना और शिकायत व्यय अदा करने के आदेश दिए। अधिवक्ता रेवत राम राणा के माध्यम से फोरम में दायर शिकायत के अनुसार उपभोक्ता ने उक्त वाहन विक्रेता की बजौरा शाखा से एक टाटा 207 टी एक्स वाहन खरीदा था। जब वाहन उपभोक्ता के सुपुर्द किया गया तो उन्हे मात्र सेल सर्टीफिकेट ही दिया गया जबकि वाहन के अन्य दस्तावेज सेल इनवाइस और फार्म 21 व 22 उन्हे नहीं सौंपे गये। यह दस्तावेज वाहन के पंजीकरण के लिए जरूरी थे। जिसके कारण वाहन का स्थाई रूप से पंजीकरण नहीं हो पाया। उपभोक्ता ने कई बार विक्रेता कंपनी से इन दस्तावेजों की मांग की लेकिन उपभोक्ता को दस्तावेज मुहैया न करवाने के कारण उन्हे अपना वाहन खडा ही रखना पडा और इसका प्रयोग नहीं हो पाया। ऐसे में उन्होने फोरम में शिकायत दर्ज करवाई थी। फोरम ने अपने में फैसले में कहा कि वाहन का पंजीकरण न होने से वाहन का प्रयोग नहीं कर सका। इसके अलावा उपभोकता को अस्थाई नंबर भी विक्रेता ने देरी से जारी किया। फोरम ने कंपनी की सेवाओं में कमी के कारण उपभोक्ता को पहुंची मानसिक यंत्रणा के बदले उक्त हर्जाना राशी एक माह में अदा करने के अलावा शिकायत व्यय भी अदा करने का फैसला सुनाया। 

Sunday, 14 August 2011

बीमा कंपनी को उपभोक्ता के 50 हजार ब्याज सहित लौटाने के आदेश


मंडी। जिला उपभोक्ता फोरम ने बीमा कंपनी को उपभोक्ता के 50,000 रूपये ब्याज सहित लौटाने के आदेश दिए। कंपनी की सेवाओं में कमी के चलते उपभोक्ता को पहुंची मानसिक यंत्रणा के बदले 5000 रूपये हर्जाना और 3000 रूपये शिकायत व्यय भी अदा करना होगा। जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्य लाल सिंह व रमा वर्मा ने सुंदरनगर के महामाया मंदिर के पास रहने वाली बेला जैन के पक्ष में फैसला सुनाते हुए बजाज एलाइंज लाईफ इंश्योरेंस कंपनी को राशी की उक्त अदायगी 9 प्रतिशत ब्याज दर सहित करने के आदेश दिए। अधिवक्ता प्रेम सिंह ठाकुर के माध्यम से फोरम में दायर शिकायत के अनुसार कंपनी के एजेंट ने राशी जमा करवाने के लिए उपभोक्ता को संपर्क किया। जिस पर उपभोक्ता ने बजाज एलाइंज सेंचुरी प्लस स्कीम के तहत 50,000 रूपये की राशी जमा करवाई। इस स्कीम के मुताबिक उपभोक्ता ने एकमुश्त प्रीमियम भी अदा कर दिया। लेकिन जब बाद में उन्होने कंपनी से अपनी पालिसी के बारे में पुछताछ की तो उसे बताया गया कि उपभोक्ता की पालिसी का प्रीमियम जमा न होने के कारण यह समाप्त हो चुकी है। ऐसे में उपभोक्ता ने कंपनी के एजेंट को संपर्क किया। वहीं पर कंपनी को भी कई बार ई-मेल भेजी गई। लेकिन कोई कार्यवाही न होने पर उन्होने फोरम में शिकायत दर्ज करवाई। फोरम ने अपने फैसले में कहा कि कंपनी ने न केवल अनुचित व्यवहारिक कार्यप्रणाली को अपनाया बल्कि उपभोक्ता को सेवा देने में भी लापरवाही बरती है। बीमा कंपनी का कहना था कि उपभोक्ता को किश्तों में प्रीमियम देना था। हालांकि इन शर्तो से संबंधित कोई दस्तावेज फोरम में पेश नहीं किया जा सका। जिसके चलते फोरम ने बीमा कंपनी को उपभोक्ता की राशी ब्याज सहित लौटाने और हर्जाना तथा शिकायत व्यय भी अदा करने का फैसला सुनाया। 

Tuesday, 9 August 2011

उपभोक्ता के पक्ष में 1,90,000 रूपये की राशी अदा करने के आदेश


मंडी। जिला उपभोक्ता फोरम ने एक वितिय कंपनी को उपभोक्ता के पक्ष में 1,90,000 रूपये की राशी ब्याज सहित अदा करने के आदेश दिए। फोरम ने कंपनी की सेवाओं में कमी के चलते उपभोक्ता को पहुंची परेशानी के बदले 20 हजार रूपये हर्जाना और 2000 रूपये शिकायत व्यय भी अदा करने के आदेश दिए। जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्यों लाल सिंह व रमा वर्मा ने उप तहसील कोटली के अरनोडी निवासी होशियार सिंह पुत्र भूप सिंह की शिकायत को उचित मानते हुए एचडीएफसीएसएल कंपनी को उपभोक्ता के पक्ष में उक्त राशी का भुगतान 9.5 फीसदी ब्याज दर सहित करने का फैसला सुनाया। अधिवक्ता जानकी दास डोगरा के माध्यम से फोरम में दायर शिकायत के अनुसार वितिय कंपनी के एजेंट ने उपभोक्ता को कंपनी में राशी का निवेश करने के लिए संपर्क किया। कंपनी का कहना था कि उपभोक्ता के 1,70,000 रूपये जमा करने और 3 साल तक 10,000 रूपये की वार्षिक किश्त जमा करवाने पर उसे दुगुनी राशी मिलनी थी। कंपनी में राशी जमा कराने के बाद उपभोक्ता ने 2008 की किस्त भी जमा करवा दी। इसके बाद जब उपभोक्ता 2009 की किस्त जमा कराने कंपनी के पास गया तो उसे कहा गया कि उसका केस मुम्बई को सैटलमेंट के लिए भेज दिया गया है। लेकिन बाद में कंपनी ने तीसरी किस्त अदा न होने के कारण उपभोक्ता को मात्र 1,29,000 रूपये देने की पेशकश की। फोरम की कार्यवाही में कंपनी के शामिल न होने पर एकतरफा फैसला सुनाते हुए फोरम ने कहा कि कंपनी ने अनुचित व्यवसायिक कार्यप्रणाली अपनाते हुए दुगुनी राशी अदा करने की जगह कम राशी देनी चाही जो कंपनी की सेवाओं में कमी को दर्शाती है। ऐसे में फोरम ने राशी ब्याज सहित लौटाने के अलावा हर्जाना और शिकायत व्यय भी अदा करने के आदेश दिए।

Monday, 8 August 2011

आटोमोबाइल कंपनी को उपभोक्ता के पक्ष में 20 हजार हर्जाना अदा करने के आदेश


मंडी। जिला उपभोक्ता फोरम ने एक आटोमोबाइल कंपनी को उपभोक्ता के पक्ष में 20 हजार रूपये की हर्जाना राशी दो माह में अदा करने के आदेश दिए। वाहन को ठीक ढंग से मुरम्मत न करने और इसे उपभोक्ता को देरी से सौंपने को सेवाओं में कमी मानते हुए कंपनी को उक्त हर्जाना राशी अदा करने को कहा। इसके अलावा उपभोक्ता के पक्ष में कंपनी को 3000 रूपये शिकायत व्यय भी देना होगा। जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्यों लाल सिंह व रमा वर्मा ने उप तहसील औट के टकोली स्थित मैसर्ज गोरशी कंस्ट्रकशन कंपनी के प्रबंध निदेशक राजेश राव की शिकायत को उचित मानते हुए नेरचौक स्थित मैसर्ज शिमला आटोमोबाइल के खिलाफ उक्त फैसला सुनाया। अधिवक्ता आर के चावला के माध्यम से फोरम में दायर शिकायत के अनुसार उपभोक्ता के वाहन में खराबी आने पर उन्होने आटोमोबाइल की वर्कशाप में मुरम्मत के लिए छोडा था। रिपेयर के बाद गाडी को उपभोक्ता को सौंप दिया गया। लेकिन ठीक होने के बाद यह वाहन पांच बार खराब हो गया। उपभोक्ता को हर बार वाहन वर्कशाप में ले जाना पडा और इसकी मुरम्मत पर खर्चा करना पडा। उपभोक्ता का वाहन 2 अगस्त 2010 को एक बार फिर से खराब हो गया। लेकिन फोरम में शिकायत दायर करने तक इसे उपभोक्ता को ठीक करके नहीं सौंपा गया। फोरम ने अपने फैसले में कहा कि आटोमोबाइल कंपनी न केवल वाहन को ठीक ढंग से मुरम्मत करने में असफल रही बल्कि बिना किसी कारण से इसे उपभोक्ता को सौंपने में भी देरी की है। वाहन के देरी से मिलने के कारण उपभोक्ता को वितिय और मानसिक हानी का सामना करना पडा। कंपनी की इस कार्यवाही को सेवाओं में कमी करार देते हुए फोरम ने कंपनी को उपभोक्ता के पक्ष में हर्जाना और शिकायत व्यय दो माह में अदा करने के आदेश दिए।

चैक बाउंस के आरोपी को 6 माह की कैद और 60 हजार जुर्माने की सजा


मंडी। चैक बाउंस के एक मामले में अदालत ने आरोपी को 6 माह के साधारण कारावास और 60,000 रूपये जुर्माने की सजा सुनाई। जुर्माना राशी निश्चित समय में अदा न करने पर आरोपी को एक माह के अतिरिक्त कारावास की सजा भुगतनी होगी। मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी डी आर ठाकुर के न्यायलय ने लोअर पडडल निवासी केसरा शर्मा पत्नी हरि दत शर्मा की निगोशिएबल इंस्ट्रूमेंट एक्ट की धारा 138 के तहत की गई शिकायत में अभियोग साबित होने पर रामनगर निवासी गुरबक्श सिंह पुत्र सतवंत सिंह को उक्त सजा का फैसला सुनाया। अधिवक्ता राजेश शर्मा के माध्यम से अदालत में दायर शिकायत के अनुसार आरोपी ने शिकायतकर्ता महिला को मकान के किराए के बदले एक चैक दिया था। आरोपी ने एप्टेक कंप्युटर सेंटर चलाने के लिये महिला के पडडल सथित भवन को किराए पर लिया था। जिसे बाद में उन्होने छोड दिया था। महिला के भवन का किराया मांगने पर आरोपी ने उन्हे एक चैक दिया था। लेकिन जब इस चैक को भुगतान के लिए लगाया गया तो आरोपी के खाते में राशी न होने के कारण यह बाउंस हो गया। ऐसे में महिला ने अधिवक्ता के माध्यम से 15 दिनों का कानूनी नोटिस जारी किया था। लेकिन अदायगी न होने पर उन्होने अदालत में शिकायत दायर की थी। अदालत ने अपने फैसले में कहा कि आरोपी के खिलाफ पर्याप्त साक्ष्य होने के कारण अभियोग साबित हुआ है। ऐसे में अदालत ने आरोपी को उक्त कारावास के अलावा जुर्माना राशी अदा करने का भी फैसला सुनाया।

अधिवक्ताओं ने बांटी अदालत परिसर में खीर




मंडी। सावन माह में खीर बांटने के पुण्य में जहां शहर के सभी गली मुहल्ले और संस्थाएं इन दिनों जुटी हुई हैं। वहीं अधिवक्ता वर्ग भी इस सामुहिक क्रिया से वंचित नहीं रहा। सावन मास का अंतिम सोमवार होने के कारण जहां शहर के समखेतर, भगवाहन, नीलकंठ आदी अलग-अलग जगहों पर समुहों और संस्थाओं ने पंडाल लगाकर खीर वितरित की। वहीं जिला अदालत परिसर में जिला बार एसोसिएशन की ओर से खीर बांटी गई। जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह ने सबसे पहले खीर का दोना भरकर परिसर में मौजूद याचिकाकर्ता को वितरित किया। इस अवसर पर जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज, अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायधीश राकेश कैंथला, फास्ट  ट्रैक कोर्ट के पीठासीन अधिकारी जे एन यादव, मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी डी आर ठाकुर, सभी न्यायिक दंडाधिकारी, जिला बार एसोसिएशन के प्रधान धर्म चंद गुलेरिया सहित एसोसिएशन के पदाधिकारी और सदस्य मौजूद रहे। एसोसिएशन के महासचिव विजय ठाकुर ने बताया कि एसोसिएशन की पिछले कई सालों की परंपरा को बरकरार रखते हुए इस वर्ष भी खीर वितरित करने का आयोजन किया गया है। वहीं पर शहर के समखेतर मुहल्ला, भगवाहन मुहल्ला, बंगला मुहल्ला, डीसी आफिस, नीलकंठ महादेव, महामृत्युंजय मंदिर में भी सावन मास के अंतिम सोमवार को खीर वितरित की गई। उल्लेखनीय है कि मंडी शहर में पिछले करीब एक दशक से सावन मास के हर दिन और विशेष रूप से सोमवार और शनिवार को खीर आबंटित करने की सामुहिक प्रक्रिया के आयोजन प्रचलित होते जा रहे हैं। जिससे सावन में मंडी का माहौल भकि्तमय हो जाता है।  

Sunday, 7 August 2011

हिमाचल परिवहन निगम को 10 हजार हर्जाना ठोंका


मंडी। जिला उपभोक्ता फोरम ने हिमाचल परिवहन निगम की सेवाओं में कमी आंकते हुए उपभोक्ता के पक्ष में बस के किराए सहित 10 हजार हर्जाना राशी अदा करने के आदेश दिए हैं। इसके अलावा निगम को उपभोकता के पक्ष में टैक्सी किराए के तौर पर 900 रूपये और 3000 रूपये शिकायत व्यय भी अदा करने के आदेश दिए। जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्यों लाल सिंह व रमा वर्मा ने सदर उपमंडल के भंगरोटू निवासी नरेन्द्र कुमार पुत्र हेम सिंह के पक्ष में फैसला सुनाते हुए प्रदेश परिवहन निगम के प्रबंध निदेशक, शिमला के मंडल प्रबंधक, नाहन डिपो के क्षेत्रिय प्रबंधक और नाहन डिपो की मनाली-देहरादून के परिचालक जगत किशोर को उक्त आदेश जारी किए। फोरम में दायर शिकायत के अनुसार उपभोक्ता पेशे से वकील हैं। उन्हें 6 जून 2010 को अपने कलाईंट से मिटिंग के सिलसिले में चंडीगढ जाना था। जिसके लिए उन्होने मनाली से चंडीगढ बस पर 5 जून की रात को यात्रा करने का निर्णय लिया। यह बस मंडी से 10.30 बजे चलनी थी। लेकिन लेट होने के कारण 12.30 बजे नेरचौक पहुंची। इसके बाद बस सुंदरनगर में एक ढाबे के पास करीब आधा घंटे तक रूकी रही। बस धीमी गति से चल रही थी और जैसे ही बस सलापड के पास पहुंची तो इसका पिछला टायर ख्रराब हो गया। जो सुबह 5.30 बजे ठीक हो पाया। इस दौरान यात्रियों जिनमें महिलाएं और उम्रदराज लोग भी थे को सलापड में ही उतार दिया गया। उपभोक्ता को चंडीगढ पहुंचने में देरी होने की संभावना के कारण उन्होने कंडक्टर से टिकट कैंसिल करने को कहा तो उन्होने इंकार कर दिया। जिस पर उपभोकता को टैक्सी लेकर घर लौटना पडा। फोरम ने अपने फैसले में यात्रियों की परेशानियों को सामने लाने के लिए उपभोक्ता की प्रशंसा की। जबकि निगम की सेवाओं में कमी के चलते उपभोक्ता को पहुंची मानसिक परेशानी के बदले किराया, हर्जाना और शिकायत व्यय अदा करने के आदेश दिए।

Tuesday, 2 August 2011

सौ ग्राम चरस रखने के आरोपी को 3 माह की कैद


मंडी। सौ ग्राम चरस सहित पकडे जाने के आरोपी को अदालत ने तीन माह के कठोर कारावास की सजा सुनाई है। मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी डी आर ठाकुर के न्यायलय ने सदर उपमंडल के दूधनू नाला (सालगी) निवासी पूर्ण चंद पुत्र ठाकर राम के खिलाफ मादक एवं नशीले पदार्थ अधिनियम की धारा 20 के तहत अभियोग साबित होने पर उक्त कारावास की सजा सुनाई । अभियोजन पक्ष के अनुसार 14 सितंबर 2004 को एएसआई योग राज की अगुवाई में पुलिस का दल मंडी- कटौला मार्ग पर गश्त के लिए तैनात था। इसी दौरान सांबल के पास एक व्यक्ति पैदल आता हुआ दिखाई दिया। पुलिस को देखकर उक्त व्यक्ति ने पीछे की ओर भागने की कोशीश की। जिस पर पुलिस ने आरोपी को काबू कर लिया। पुलिस ने आरोपी के बैग की तलाशी के दौरान इसमें से 100 ग्राम चरस बरामद की थी। पुलिस ने आरोपी को हिरासत में लेकर अदालत में अभियोग चलाया था। अभियोजन पक्ष की ओर से पैरवी करते हुए सहायक लोक अभियोजक के एस वर्मा ने 7 गवाहों के ब्यान दर्ज करवाकर मामले को साबित किया। सजा की अवधी पर हुई सुनवाई के दौरान बचाव पक्ष का कहना था कि यह आरोपी का पहला अपराध है जिसके चलते उसके प्रति नरम रूख अपनाया जाए। जबकि अभियोजन पक्ष ने कडी सजा की प्रार्थना की। अदालत ने आरोपी से बरामद चरस की मात्रा कम होने के कारण उसे उक्त कारावास का फैसला सुनाया।

बीमा कंपनी को 13 लाख अदा करने के आदेश


मंडी। जिला उपभोक्ता फोरम ने बीमा कंपनी को उपभोक्ता के पक्ष में 13 लाख रूपये की मुआवजा राशी 15 दिनों में अदा करने के आदेश दिए। इसके अलावा उपभोक्ता के पक्ष में 5000 रूपये हर्जाना राशी और 3000 रूपये शिकायत व्यय भी अदा करने का फैसला सुनाया। जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्यों लाल सिंह और रमा वर्मा ने जिला बिलासपुर के चमयाहुं ( हरनोडा) निवासी बाबू राम पुत्र राम दितु के पक्ष में फैसला सुनाते हुए रायल सुंदरम अलाइंस इंश्योरेंस कंपनी, चेन्नई को उक्त राशी का भुगतान 9 प्रतिशत दर से करने के आदेश दिए। उपभोक्ता फोरम में दायर शिकायत के अनुसार उपभोक्ता ने अपने वाहन को कंपनी के पास बीमाकृत करवाया था। बीमावधी में ही दुर्घटना में वाहन बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया था। उपभोक्ता ने घटना की प्राथमिकी दर्ज कर इसकी सूचना कंपनी को भी दी थी और दुर्घटना से संबंधित सभी दस्तावेज मुहैया करवा दिये थे। हालांकि कंपनी ने नुकसान का आकलन करने के लिए सर्वेयर की तैनाती की थी। लेकिन कंपनी ने मुआवजा अदा नहीं किया और न ही इसे खारिज करने के बारे में उपभोक्ता को सूचित किया। ऐसे में उपभोक्ता ने फोरम में शिकायत दर्ज करवाई थी। उपभोक्ता फोरम ने मुआवजा अदा न करने को कंपनी की सेवाओं में कमी मानते हुए बीमा कंपनी को उपभोक्ता के पक्ष में मुआवजा राशी का भुगतान ब्याज सहित करने के आदेश दिए। वहीं पर फोरम ने कंपनी की सेवाओं में कमी से उपभोक्ता को पहुंची मानसिक यंत्रणा के बदले हर्जाना और शिकायत दायर करने का खर्चा भी अदा करने का फैसला सुनाया। 

चित्र हटाने के आरोपों को निराधार बताया


मंडी। जिला बार एसोसिएशन ने जिला एवं सत्र न्यायलय कक्ष से महात्मा गांधी का चित्र हटाने के आरोपों को निराधार और तथ्यहीन करार दिया है। जिला बार एसोसिएशन के प्रधान धर्म चंद गुलेरिया ने मंगलवार को जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा कि न्यायलय कक्ष में महात्मा गांधी का एक चित्र पहले भी लगा हुआ था और आज भी लगा हुआ है। उन्होने कहा कि गांधी जी की ही तरह निर्विवाद रूप से राष्ट्रिय आदर्श और सर्वोच्च बलिदान देने वाले स्वतंत्रता संग्राम के महानतम नायकों में से एक शहीद-ए-आजम भगत सिंह का चित्र भी कक्ष में लगा है। उन्होने कहा कि कुछ लोग अपनी शुद्र राजनिती के लिए राष्ट्र के नायकों और न्यायलयों को भी अनावश्यक तौर पर घसीटना चाहते हैं जिसकी किसी को भी छुट नहीं दी जानी चाहिए। एसोसिएशन के प्रधान ने कहा कि न्यायलय की स्वतंत्रता, गरिमा और सम्मान की रक्षा करना हम सभी का दायित्व है। उन्होने आशंका जाहिर करते हुए कहा कि चित्र हटाने संबंधी आरोपों का वक्तव्य जारी करने वाले व्यक्ति ने न्यायालय कक्ष देखकर इस कथित तथ्य की पुष्टी नहीं की और निहित स्वार्थों के कहने पर वक्तव्य जारी कर दिया जो स्वतंत्रता सेनानी के कथित संगठन का अनुचित प्रयोग प्रतीत होता है। जिला बार एसोसिएशन ने कहा कि इस प्रकार के गैर जिम्मेदाराना आरोपों के वक्तव्यों को कोई तवज्जो नहीं दी जानी जिससे न्यायलय की गरिमा व स्वतंत्रता सेनानियों की कुरबानियों का निरादर हो। 

Monday, 1 August 2011

विचाराधीन बंदी ने नसें काटी


मंडी। पेशी के सिलसिले में मंडी आए एक विचाराधीन बंदी ने स्कूल बाजार में पुलिस हिफाजत के दौरान ही अपने बाजू की नसें काट दी। जिससे वह गंभीर रूप से जख्मी हो गया। बंदी के साथ तैनात पुलिस कर्मीयों ने उसे तुरंत उपचार के लिए क्षेत्रीय अस्पताल में भरती करवा दिया है। जानकारी के अनुसार बाडीगुमाणु के एक टैकसी चालक पर रंधाडा के पास कातिलाना हमला करने के दो आरोपियों को पंजाब पुलिस मंडी न्यायलय में विचाराधीन इस मामले की पेशी के लिए लाई थी। मामले की सुनवाई तीन दिन तक होनी थी। ऐसे में अदालत ने सोमवार को आरोपियों को न्यायिक हिरासत में उपजेल में रखने के आदेश दिए गए थे। पंजाब में भी आरोपियों पर मामला दर्ज होने के कारण पंजाब पुलिस उन्हे हथकडी बांध कर मंडी लाई थी। पेशी के बाद जब पुलिस दोनों आरोपियों को उपजेल ले जा रही थी । इसी दौरान रास्ते में स्कूल बाजार के पास विचाराधीन बंदी बलजिंद्र सिंह ने किसी धारदार वस्तु से अपने बाजू की नसें काट ली। उसके हाथों से खून निकलता देख डयूटी पर तैनात पुलिस कर्मीयों ने बलजिंद्र को तुरंत क्षेत्रिय असपताल में भरती करवाया। जहां उसका उपचार चल रहा है।  

सेंधमारी के आरोपी को एक साल की कैद


मंडी। घर में सेंधमारी करके चोरी करने का अभियोग साबित होने पर अदालत ने एक आरोपी को एक साल की साधारण कारावास की सजा का फैसला सुनाया है। मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी डी आर ठाकुर के न्यायलय ने नेर ढांगू(नेरचौक) निवासी नंद लाल पुत्र घनश्याम के खिलाफ भादंसं की धारा 457 और 380 के तहत अभियोग साबित होने पर उसे क्रमश: एक-एक साल के साधारण कारावास और एक-एक हजार रूपये जुर्माने की सजा सुनाई है। जुर्माना राशी निश्चित समय में अदा न करने पर उसे तीन-तीन माह के अतिरिक्त कारावास की सजा भुगतनी होगी। ये दोनों सजाएं एक साथ चलेंगी। अभियोजन पक्ष के अनुसार 3 दिसंबर 2005 की रात को नेर ढांगू निवासी मनसा देवी अपने घर में मौजूद नहीं थी। आरोपी ने मौके का फायदा उठाकर महिला के मकान का दरवाजा तोडकर वहां से कीमती सामान चोरी कर लिया था। अगले दिन जब मनसा देवी अपने घर लौटी तो चोरी का पता चलते ही उन्होने बल्ह थाना में प्राथमिकी दर्ज करवाई थी। पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज करके अदालत में अभियोग चलाया था। अभियोजन पक्ष की ओर से मामले की पैरवी सहायक लोक अभियोजक किश्न सिंह वर्मा ने की। अभियोजन की ओर से इस मामले को साबित करने के लिए 5 गवाहों ने अपने ब्यान दर्ज करवाए। जबकि बचाव पक्ष की ओर से भी एक गवाह अदालत में हाजिर हुआ। अदालत ने आरोपी के खिलाफ पर्याप्त साक्ष्य होने के कारण उसे उक्त सजा का फैसला सुनाया।  

मिलावटी साफ्ट ड्रिंक पडा़ निर्माताओं को मंहगा


मंडी। मिलावटी साफ्ट ड्रिंक बेचना निर्माता कंपनी को उस समय भारी पडा जब उन्हे एक बोतल बेचने के बदले 28000 रूपये अदा करने का आदेश सुनाया गया। जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्यों लाल सिंह व रमा वर्मा ने लडभडोल तहसील के गुलाना(तुलाह) गांव के इन्द्र सिंह के पक्ष में साफ्ट ड्रिंक निर्माता कंधारी बिव्रेज पंजाब और हिन्दोस्तान कोको कोला, पुणे को 25000 रूपये हर्जाना और 3000 रूपये शिकायत व्यय अदा करने का फैसला सुनाया है। यह राशी निर्माता को उपभोक्ता के पक्ष में दो माह में अदा करनी होगी। फोरम में दायर शिकायत के अनुसार उपभोक्ता ने 21 जून 2009 को स्थानिय विक्रेता से फैंटा की चार बोतलें खरीदी थी। उपभोकता ने एक सीलबंद बोतल में तैरते हुए कुछ अवांछित तत्व देखे तो उन्होने इसकी सूचना विक्रेता को दी। जिस पर विक्रेता ने उपभोक्ता को कंपनी के निर्माता से संपर्क करने को कहा। उपभोक्ता ने निर्माता की हेल्प लाईन पर संपर्क करना चाहा लेकिन कोई बात नहीं बनी। जिस पर उन्होने फोरम में शिकायत दर्ज करवाई थी। फोरम ने दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद अपने फैसले में कहा कि साफ्ट ड्रिंक की बोतल में अवांछित तत्वों की मौजूदगी अपने आप में सेहत के लिए घातक है। जिसकी पुष्टि कंडाघाट स्थित कंपोजिट टेस्टिंग लैबोरेटरी की रिर्पोट से हुई है। देश भर में साफ्ट ड्रिंक की भारी मांग के बावजूद विशेष मापदंड न अपनाने वाले निर्माताओं को दंडित किया जाना चाहिए जिससे गुणवता के साथ भविष्य में कोई समझौता न किया जाए। इन तथ्यों के मदेनजर साफ्ट ड्रिंक में मिलावटी पदार्थ पाए जाने को सेवाओं में कमी करार देते हुए फोरम ने निर्माता कंपनी को उपभोक्ता के पक्ष में उक्त हर्जाना राशी और शिकायत व्यय अदा करने के आदेश दिए।

तिब्बति निवासी ने जाली प्रमाण पत्र से अपने नाम की जमीन


मंडी। तिब्बति मूल के एक निवासी द्वारा जाली प्रमाण पत्र से रिवालसर में जमीन अपने नाम करवाने का मामला सामने आया है। विजिलेंस ने करीब 3 साल लंबी जांच प्रक्रिया के बाद तिब्बती निवासी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की है। विजिलेंस विभाग मामले की तफ्तीश में जुट गया है। जानकारी के अनुसार जम्मू- कश्मीर के जिला लेह के छुछोट योकमा निवासी मिंगचुंग दोरजे पुत्र टशी ने वहां के स्थानिय प्रशासन से साल 2004 में स्थाई निवासी का एक जाली प्रमाण पत्र हासिल किया था। जबकि मिंगचुंग मूल रूप से तिब्बत का निवासी है। मिंगचुंग को लेह निवासी कुसुबकुला ने रिवालसर में स्थित अपनी 2-0-9 बीघा जमीन की वसीयत कर दी थी। गैर हिमाचली और कृषक प्रमाण पत्र न होने के कारण मिंगचुंग ने धारा 118 के तहत सरकार से अनुमति मांगी थी। सरकार ने उकत प्रमाण पत्र के आधार पर मिंगचुंग को धारा 118 के तहत अनुमति भी दे दी थी। इसी बीच मिंगचुंग के तिब्बति नागरिक होने के बारे में साल 2008 में विजिलेंस विभाग को शिकायत मिली। विभाग ने इस बारे में अपनी जांच शुरू कर दी थी। जांच पूरी होने पर विजिलेंस के मंडी थाना ने मिंगचुंग के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर ली है। विजिलेंस के मंडी थाना के निरिक्षक हेमंत ठाकुर ने मिंगचुंग के खिलाफ मामला दर्ज होने की पुष्टि की है। उन्होने बताया कि जांच पूरी होने पर विजिलेंस ने मिंगचुंग के खिलाफ भादंसं की धारा 420,468,471 और 120-बी के तहत मामला दर्ज किया है। उन्होने कहा कि इस मामले की तफतीश जारी है।

भवन को दी जमीन विभाग का ही कर्मी कर रहा अतिक्रमण


मंडी। बल्ह क्षेत्र के कुम्मी गांव में पशुपालन विभाग को भवन बनाने के लिए दी गई जमीन पर विभाग का ही एक कर्मी अतिक्रमण कर रहा है। विभाग को भूमि दान करने वाली महिला कृष्णा देवी ने इस बारे में अतिरिक्त उपायुक्त हंस राज चौहान को ज्ञापन देकर इस भूमि पर अतिक्रमण रोकने और बाडबंदी करके जल्द से जल्द भवन का निर्माण करने की भी मांग की है। उपायुकत को सौंपे गए ज्ञापन में कुम्मी गांव निवासी कृष्णा देवी पत्नी बख्शी राम का कहना है कि उन्होने करीब 5-6 साल पहले पशुपालन विभाग को चिकित्सालय भवन बनाने के लिए 0-1-6 विश्वा जमीन दी थी। उनके अनुसार अगर इस जमीन पर भवन बनाया जाता है तो वह और अधिक जमीन भी दान करने को तैयार है। लेकिन इतने सालों में विभाग भवन बनाने में असमर्थ रहा है। इतना ही नहीं विभाग दान की गई जमीन की बाडबंदी भी नहीं कर सका है। जिससे इस जमीन पर अब विभाग का ही एक चतुर्थ श्रेणी कर्मी अतिक्रमण करके कब्जा कर रहा है। कृष्णा देवी के अनुसार इस जमीन का मुआइना उपमंडलाधिकारी सदर भी कर चुके हैं। महिला का कहना है कि विभाग इस भूमि पर अपना भवन बनाए और बाकी बची जमीन पर बाडबंदी की जाए। कृषणा देवी ने कहा कि अगर विभाग भवन निर्माण करने में असफल रहता है तो उसकी जमीन की रजिस्ट्री फिर से उसके नाम की जाए जिससे इस पर अतिक्रमण रोका जा सके। इधर, इस बारे में पशुपालन विभाग के उपनिदेशक ए के शर्मा से संपर्क करने पर उन्होने माना कि भूमि पर अतिक्रमण के बारे में उन्हे अतिरिकत उपायुकत और उपमंडलाधिकारी की ओर से पत्र मिले हैं। उन्होने बताया कि भूमि की निशानदेही ले ली गई है और भवन के लिए राशी भी विभाग को प्राप्त हो गई है। जल्द ही लोक निर्माण विभाग के माध्यम से भवन का निर्माण करवाया जाएगा। उन्होने बताया कि उक्त चर्तुथ श्रेणी कर्मी के खिलाफ कारण बताओ नोटिस जारी किया जा रहा है और उसकी तनखवाह रोकने की कार्यवाही भी अमल में लाई जा रही है। 

मंडी में बनाया जाए आधुनिक पुस्तकालयः शहीद भगत सिंह विचार मंच

मंडी। प्रदेश की सांस्कृतिक और बौद्धिक राजधानी मंडी में आधुनिक और बेहतरीन पुस्तकालय के निर्माण की मांग की गई है। इस संदर्भ में शहर की संस्...