Sunday 31 March 2013

महिला से छेडखानी के आरोपी को दो साल की कैद और 15000 रूपये जुर्माना


मंडी। घर में प्रवेश करके महिला से छेडखानी करने का अभियोग साबित होने पर अदालत ने एक आरोपी को दो साल के साधारण कारावास और 15000 रूपये जुर्माने की सजा सुनाई। आरोपी के जुर्माना राशि निश्चित अवधि में जमा न करने पर उसे दो माह के अतिरिक्त साधारण कारावास की सजा भुगतनी होगी। जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह के न्यायलय ने बल्ह क्षेत्र के पीपली गांव निवासी नंद लाल उर्फ नंदू पुत्र वीणु राम के खिलाफ भादंसं की धारा 452 और 354 के तहत घर में घुस कर छेडखानी का अभियोग साबित होने पर क्रमश: दो और डेढ साल के साधारण कारावास और क्रमश: 10,000 और 5000 रूपये जुर्माने की सजा सुनाई। ये दोनों सजाएं एक साथ चलेंगी। अभियोजन पक्ष के अनुसार 21 जून 2009 को पीडित महिला अपने घर में पति के साथ सोई हुई थी। गर्मी का मौसम होने के कारण उन्होने कमरे का दरवाजा खुला रखा हुआ था। इसी दौरान आरोपी ने उनके घर में प्रवेश किया और महिला से छेडखानी की। पीडिता के शोर मचाने पर आरोपी मौका से फरार हो गया। महिला ने अपने परिजनों के साथ बल्ह थाना में प्राथमिकी दर्ज करवाई थी। पुलिस ने प्राथमिकी के आधार पर आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज करके उसे हिरासत में लेने के बाद अदालत में अभियोग चलाया था। अभियोजन पक्ष की ओर से पैरवी करते हुए जिला न्यायवादी जे के लखनपाल ने चार गवाहों के बयान कलमबध करवा कर मामले को साबित किया। जबकि बचाव पक्ष की ओर से भी दो गवाहों ने अपने बयान दिये। अदालत ने आरोपी को दोषी करार देकर सजा की अवधि पर दोनों पक्षों की सुनवाई की। जिसमें बचाव पक्ष की ओर से आरोपी का पहला अपराध होने के कारण नरम रूख अपनाने की प्रार्थना की गई। जबकि अभियोजन पक्ष की ओर से आरोपी को कडी सजा की मांग की गई। अदालत ने अपने फैसले में कहा कि यह सही समय है जब महिलाओं के विरूध हो रहे अपराधों के साथ सखती से निपटा जाए। समाज के हितों को देखते हुए आरोपी के प्रति नरम रूख नहीं अपनाया जा सकता। ऐसे में अदालत ने आरोपी को उक्त कारावास और जुर्माने की सजा का फैसला सुनाया।

Saturday 30 March 2013

दुराचारी अध्यापक को 10 साल कठोर कारावास और 1,10,000 रूपये जुर्माने की सजा


मंडी। आठवीं कक्षा की नाबालिग से दुराचार करने के आरोपी अध्यापक को अदालत ने 10 साल के कठोर कारावास और एक लाख 10 हजार रूपये जुर्माने की सजा का फैसला सुनाया। आरोपी से प्राप्त होने वाली जुर्माना राशि में से आधी राशि पीडिता के पक्ष में बतौर हर्जाना अदा की जाएगी। जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह के न्यायलय ने सदर तहसील के रती गांव निवासी राम सिंह पुत्र लंगेडा राम के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 376 और 354 के तहत अभियोग साबित होने पर क्रमश: 10 साल और दो साल के कठोर कारावास और क्रमश: एक लाख व दस हजार रूपये के जुर्माना राशि की सजा सुनाई। आरोपी के जुर्माना राशि निश्चित समय में अदा न करने पर उसे क्रमश: 6 और 2 माह के अतिरिक्त साधारण कारावास की सजा भुगतनी होगी। ये सभी सजाएं एक साथ चलेंगी। अभियोजन पक्ष के अनुसार एक दिसंबर 2010 को आरोपी ने पीडिता से कहा कि वह आधे दिन की छुटटी के लिए उसके पास आवेदन मांगा और उसे डिपो के पास आने के निर्देश दिये। इसके बाद आरोपी पीडिता को अपने साथ वाहन में बिठा कर कुछ दूरी तक ले गया और उसे सडक से नीचे की ओर ले जाकर उससे अकेली जगह में दुराचार किया। पीडिता ने बाद में इस घटना की सूचना अपने परिजनों को दी। जिस पर परिजनों सहित पीडिता ने बल्ह थाना में आरोपी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करवाई। पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज कर अदालत में अभियोग चलाया था। अभियोजन पक्ष की ओर से जिला न्यायवादी जे के लखनपाल ने इस मामले में 9 गवाहों के बयान दर्ज करवा कर इसे साबित किया। सजा की अवधि पर हुई सुनवाई के दौरान बचाव पक्ष का कहना था कि यह आरोपी का पहला अपराध है जिसके चलते आरोपी के प्रति नरम रूख अपनाया जाए। जबकि जिला न्यायवादी जे के लखनपाल का कहना था कि आरोपी घटना के समय पीईटी के पद पर स्कूल में तैनात था जबकि पीडिता आठवीं कक्षा की छात्रा थी। आरोपी ने अपने पद का दुरूपयोग कर गुरू-शिष्य परंपरा को कलंकित किया है। जिसके चलते आरोपी को कडी सजा दी जाए। अदालत ने अपने फैसले में कहा कि आरोपी ने अपनी बेटी जिसकी आयु 18 वर्ष है से भी छोटी पीडिता से दुराचार करके शर्मनाक और अमानवीय कृत्य किया है। आरोपी ने उन सैंकडों अभिभावकों के विश्वास को तोडा है जो अपनी बेटियों को शिक्षक कहे जाने व्यक्ति की हिफाजत में स्कूल भेजते हैं। अदालत ने कहा कि आरोपी का कृत्य उदार रूख अपनाए जाने योगय नहीं हैं। ऐसे में उसे उक्त कारावास और जुर्माने की सजा का फैसला सुनाया गया। आरोपी से प्राप्त होने वाली जुर्माना राशि में से आधी राशि पीडिता के पक्ष में बतौर हर्जाना अदा की जाएगी।

Monday 25 March 2013

मैगा लोक अदालत में 278 मामलों का मौका पर निपटारा


मंडी। राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देश पर सोमवार को जिला एवं सत्र न्यायलय में मैगा लोक अदालत का आयोजन किया गया। जिला विधिक प्राधिकरण द्वारा आयोजित इस लोक अदालत में विभिन्न प्रकार के 278 मामलों का मौका पर ही निपटारा कर दिया गया। इन मामलों में याचिकाकर्ताओं के पक्ष में करीब 2,50,000 रूपये की हर्जाना राशि अदा करने के आदेश दिये गये। जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह ने इस मैगा लोक अदालत की अध्यक्षता की। मैगा अदालत में छोटे अपराधों, चैक संबंधी शिकायतों, मोटर वाहन अधिनियम और अन्य मामलों का मौका पर ही निपटारा कर दिया गया।

अर्बन बैंक के अध्यक्ष सहित 6 निदेशकों को चार-चार साल के कठोर कारावास दो-दो लाख जुर्माने की सजा


मंडी। बहुचर्चित मंडी अर्बन कॉपरेटिव बैंक घोटाले के मामले में सोमवार को जिला एवं सत्र न्यायलय ने दोषी करार दिये गए बैंक के अध्यक्ष सहित 6 निदेशकों को चार-चार साल के कठोर कारावास और दो-दो लाख रूपये जुर्माने की सजा सुनाई। जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह की अदालत ने अपने फैसले में कहा कि आरोपियों पर आपराधिक षडयंत्र के तहत विश्वासघात का आरोप साबित होने पर यह सजा सुनाई। आरोपियों पर 13 मार्च को अदालत ने दोषी करार दिया था। जिसके बाद सजा की अवधि के लिये पहले 19 मार्च, फिर 23 मार्च और बाद में 25 मार्च को सुनवाई निश्चित की थी। सोमवार को खचाखच भरी अदालत परिसर में इस अहम मामले का फैसला सुनाया गया। अदालत ने बैंक के तात्कालीन अध्यक्ष महेन्द्र पाल सहगल, निदेशक अजीत कपूर, मंजीत सिंह धमीजा, महेश बहल, नितिन कपूर और अनिल कपूर को उक्त सजा का फैसला सुनाया। इससे पूर्व अभियोजन पक्ष की ओर मामले की पैरवी करने वाले जिला न्यायवादी जे के लखनपाल ने सजा की अवधि के लिए हुई सुनवाई के दौरान तर्क देते हुए अदालत से आरोपियों को कडी सजा देने की मांग की,जबकि बचाव पक्ष की ओर से आरोपियों के प्रति अदालत से नर्म रूख अपनाने की गुहार लगाई। अभियोजन पक्ष की ओर से मामले की पैरवी करने वाले जिला नयायवादी जेके लखनपाल ने बताया कि बैंक के प्रशासक मस्त राम ने एक अप्रैल 2005 को सदर थाना मंडी में प्राथमिकी दर्ज करवाई थी कि मार्च 2005 में कार्यभार संभालने के बाद रिकॉर्ड को खंगालने पर उन्हें पता चला कि बैंक के मैनेजर और पदाधिकारियों ने विश्वासघात करके बैंक को भारी नुक्सान पहुंचाया है, क्योंकि बैंक मैनेजर ऋण देते समय बंधक पत्र(मोर्टगेज) प्राप्त करने में कोताही बरती है और बैंक का नॉन परफार्मिंग (एनपीए) को अनाधिकृत रूप से सैटल किया गया है, जिसमें एकमुश्त अदायगी(ओटीएस) स्कीम का उल्लंघन किया गया है। पुलिस ने भारतीय दंड संहिता के तहत मामला दर्ज कर अदालत में 18 आरोपियों के खिलाफ अभियोग चलाया। सुनवाई के दौरान बैंक के मैनेजर परमिंद्र वैद्य और हेमंत कुमार टंडन की मौत हो गई जबकि 16 आरोपियों के खिलाफ अभियोग साबित करने के लिए अभियोजन पक्ष की ओर से 17 गवाहों के बयान दर्ज किए गए। अदालत ने अपनी 104 पृष्ठों के फैसले में इस मामले में संलिप्त बैंक के अध्यक्ष सहित निदेशक मंडल के छह सदस्यों को भारतीय दंड संहिता की धारा 409 व 120 बी के तहत षडय़ंत्रपूर्वक विश्वासघात का दोषी करार दिया जबकि 10 अन्य आरोपियों को आरोपमुक्त कर दिया था। अदालत ने अपने फैसले में कहा कि आरोपियों के अपराध से आम जनता और बैंक के निवेशकों और खाताधारकों का विश्वास टूटा है। इस अपराध से कॉपरेटिव बैंकिंग की विश्ववसनियता पर भी प्रश्रचिन्ह लगा है, क्योंकि इस बैंक को आम जनता की भगाीदारी से स्थापित किया गया था। यह अपराध एकदम नहीं किया गया था बल्कि सोचे समझे तरीके से अंजाम दिया गया। अदालत ने कहा कि आरोपियों ने ओटीएस स्कीम का उल्लंघन करके जल्दबाजी में ऋण वसूली के कुछ मामलों का खत्म किया। अदालत ने कहा कि आरोपी यह बताने में असफल रहे कि अनिल सहगल, एनएन सहगल, दया सहगल और किशन चंद वैद्य के मामले ओटीएस स्कीम के तहत कैसे खत्म किए गए जबकि इस मामले की सैटलमैंट करने से बैंक को 741850 रूपए का नुक्सान उठाना पड़ा। ऐसे में अदालत ने आरोपियों को उक्त करावास और जुर्माने की सजा सुनाई। अदालत ने अपने आदेश में कहा है कि दोषियों से वसूल की गई जुर्माना राशि अर्बन बैंक को इस निर्देश सहित दी जाएगी कि यह राशि जमाकर्ताओं को वितरित की जाएगी। अदालत ने अपने आदेश में कहा कि जुर्माना राशि अदा न करने की सूरत में दोषियों को छह-छह महीने का अतिरिक्त कारावास भुगतना पड़ेगा।

Saturday 23 March 2013

इप्टा ने मनाया जिला न्यायलय में शहीदी दिवस


मंडी। शहीदी दिवस के अवसर पर इंडियन पिपलस थियेटर एसोसिएशन की ओर से जिला न्यायलय परिसर में कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह ने की। इस अवसर पर संबोधित करते हुए उन्होने कहा कि शहीद भगत सिंह, राजगुरू और सुखदेव की शहादत की बदौलत देश को आजादी मिली। आजाद होने के बाद देश ने अपना संविधान बनाया और अपने लिए लोकतांत्रिक व्यवस्था का चयन किया। लेकिन व्यवस्थागत खामियों के कारण देश के समक्ष अनेकों चुनौतियां सामने हैं। व्यवस्था में रह कर ही इसमें सुधार लाकर इन चुनौतियों का सामना किया जाना चाहिए। उन्होने कहा कि अगर देश के समक्ष चुनौतियों से नहीं निपटा गया तो हमारे शहीदों की शहादत व्यर्थ चली जाएगी। इप्टा के संयोजक लवण ठाकुर ने कार्यक्रम का संचालन करते हुए शहीदों के जीवन पर प्रकाश डालते हुए उनके स्वतंत्रता संग्राम में योगदान के बारे में बताया। उन्होने कहा कि देश के निर्माण के लिये भावी पीढी को शहीदों की शहादत से प्रेरणा लेनी चाहिए। इससे पूर्व दो मिनट का मौन रख कर शहीदों को श्रद्धांजली दी गई। कार्यक्रम में इप्टा के कलाकारों भुपेन्द्र ठाकुर, प्रवेश, जय कुमार, दीपक मट्टु, शेरू, नवीन राठौर और समीर कश्यप ने देशभक्तिके गीतों से भाव विभोर कर दिया। जिला बार एसोसिएशन केे महासचिव लोकेन्द्र कुटलैहडिया ने इंडियन पीपलस थियेटर एसोसिएशन का न्यायलय परिसर के बार रूम में कार्यक्रम करने पर धन्यावाद किया। कार्यक्रम में अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायधीश डा. बलदेव सिंह, फास्ट ट्रैक कोर्ट के पीठासीन अधिकारी पदम सिंह ठाकुर, मुखय न्यायिक दंडाधिकारी मदन कुमार, न्यायिक दंडाधिकारी कोर्ट नंबर चार गीतिका कपिला, पुलिस अधिकारी, बार एसोसिएशन के पदाधिकारी व सदस्य तथा विभिन्न सामाजिक संगठनों के पदाधिकारी भी मौजूद थे।

Sunday 17 March 2013

यह चेहरा


यह चेहरा मेरे एक सहपाठी का है..
अधिक सुंदर नहीं, असुंदर भी नहीं,
साधारण और असाधारण की सीमाओं में स्थापित है यह चेहरा।

 यह चेहरा एक आकर्षण है
सबके लिए नहीं पर कुछों के लिए।
 आकर्षण के कारण भी अनेक हैं उन कुछों के लिए
 अपने-अपने कारणों से आकर्षित
 सब के सब
 उस चेहरे में व्यस्त हैं।

 यह चेहरा नापता है
धरती के एक खास टुकडे को
 अपने विशिष्ट कदमों से
 अपने रोजनामचे में।
 इस शांत, सौम्य चेहरे में
 छिपी बैठी रहती है
 भारी व्यस्तता, द्वंद और
 विचारों की उठापटक।

 इस चेहरे की आंखों की पुतलियां
 खोज में होती है
 नयी जानकारियों और नयी किताबों की।
न जाने किन प्रश्नों के उतर की
 तलाश में बढ जाना चाहता है यह चेहरा।

 यह अक्सर शिकार होता है
 सहपाठियों की भर्तसनाओं का
 साथियों के छिछलेपन का
 कक्षा के छुटभैय्या नेता की
 राजनिती का।

 यह चेहरा
 प्रिय दोस्त है उसके
 पहचाने पर अनजाने दोस्त का
 जो द्रवित और अकुलित होता है हमेशा
 जब भी चेष्टा की जाती है
 इस चेहरे को रूआंसा करने की
 या फिर उसकी मासूमियत छीनने की।

 समीर कश्यप बी.ए. तृतीय वर्ष,  वर्ष 1994, मंडी, हि.प्र.

Saturday 16 March 2013

काष्ठ माडल की कला को नया आयाम देने की कोशीश


मंडी। काष्ठ माडल की कला भले ही अभी लोकप्रिय नहीं हुई है लेकिन इस क्षेत्र में कलाकर्मियों ने कई आयाम स्थापित किये हैं। मंडी के जवाहर नगर निवासी परमानंद भी इस कला में उल्लेखनीय कार्य कर रहे हैं। शौकिया शुरूआत ने उन्हे कब इस कला का हुनरमंद बना दिया इसका भान उन्हे तब हुआ जब कला के पारखियों ने उनकी कला का मोल समझा। परमानंद को प्रदेश सरकार की ओर से वर्ष 2007 में राज्य पुरूस्कार से भी नवाजा जा चुका है। दिन के समय फर्नीचर इंडस्ट्री की दुकान में काम करने के बाद शाम को परमानंद का समय अपने माडलों को निखारने में बीतता है। परमानंद अपने शौक के चलते महत्वपूर्ण स्थलों के अभी तक करीब 25 काष्ठ माडल बना चुके हैं। जिनमें से पराशर झील का पैगोडा शैली में बना मंदिर, हैदराबाद की चार मीनार, मंडी का घंटाघर, विक्टोरिया ब्रिज, विजय सीनीयर सैकेंडरी स्कूल का ओ ब्लाक, शिमला का चर्च आदि इनके कुछ प्रसिद्ध माडल हैं। हालांकि वह खुद इनमें से कई जगहों पर गये भी नहीं हैं लेकिन महत्वपूर्ण स्थलों को मात्र इनके चित्रों से देख कर ही जीवंत कर दिया है। इन माडलों में छोटी से छोटी बारिकी का भी ध्यान रखा जाता है और हुबहु आकृति तैयार कर दी जाती है। हाथों की इस कला में भारी मेहनत भी लगती है। परमानंद हमेशा नये माडलों की तलाश में लगे रहते हैं। इन दिनों परमानंद कुल्लू जिला की बंजार तहसील की चैहणी कोठी के माडल पर कार्य कर रहे हैं। जिसके लिए वह हाल ही में अपने एक सहयोगी सूरज के साथ विशेष रूप से चैहणी कोठी भी गए थे। अपने काम के तरीके पर प्रकाश डालते हुए उन्होने बताया कि वह अपने माडल में देवदार, चीड, रई की लकडी व पलाई का प्रयोग करते हैं जिन्हे वह फेविकोल से जोड कर आकार देते हैं। इसके बाद इसे पालिश और पेंट करने के बाद अंतिम रूप दिया जाता है। परमानंद ने बताया कि उन्हे अपनी मेहनत की कदरदानों से उचित कीमत भी मिल जाती है। लेकिन अभी तक वह सार्वजनिक रूप से अपनी कला की प्रदर्शनी नहीं लगा पाए हैं। हालांकि इस बार वह शिवरात्री मेले के दौरान एक दिन के लिए अपनी कला की प्रदर्शनी के तौर पर अपने माडलों को प्रदर्शित करेंगे। उन्होने कहा कि अगर उनके इस कार्य को उचित तवज्जो दी जाए तो यह नयी पीढी के लिए आमदनी का एक अच्छा साधन बन सकता है।

Friday 15 March 2013

आडिशन पास करने पर भी नाटी दल को नहीं मिला कार्यक्रम


मंडी। अंतर्राष्ट्रीय शिवरात्री महोत्सव के कार्यक्रम का आडिशन पास करने के बावजूद भी सराज से आए एक नाटी दल को क्रार्यक्रम नहीं दिया जा रहा है। जिसके कारण करीब 20 सदस्यों की टीम सहित मंडी पहुंचे दल को भारी दिक्कतों का सामना करना पड रहा है। आडिशन पास करने के बावजूद भी कार्यक्रम न मिलने के कारण अब दल की ओर से मेला कमेटी को अधिवक्ता के माध्यम से कानूनी नोटिस दिया गया है। बालीचौकी तहसील के डाबणु (थाची) के भीम सेन युवा मंडल ने मेला कमेटी की ओर से 2 मार्च को विपाशा सदन में लोक नृत्य (नाटी) का आडिशन दिया था। आडिशन में चारों जजों ने उनके पंजीकृत युवा मंडल को शिवरात्री मेले की सांध्यकालीन कार्यक्रम के लिए योगय घोषित किया था। आडिशन में मात्र एक ही दल भाग लेने आया था। इस आडिशन की विडियो रिकार्डिंग भी की गई है। लेकिन मेला कमेटी ने भीम सेन युवा मंडल को इस बार अभी तक कार्यक्रम नहीं दिया गया है। इस बारे में युवा मंडल के सदस्यों ने लोकसंपर्क अधिकारी सहित अन्य जजों से संपर्क किया तो उन्हे बताया गया कि उनका कार्यक्रम तय कर दिया गया है। लेकिन कार्यक्रम न मिलने पर युवा मंडल के सदस्यों ने मेला कमेटी के अध्यक्ष को अतिरिक्त उपायुक्त के माध्यम से शुक्रवार को ज्ञापन सौंपा। जिस पर उन्होने युवा मंडल के सदस्यों को डीपीआरओ मंडी के पास भेज दिया। जबकि डीपीआरओ का कहना था कि उनका कार्यक्रम दिलाने में लेना देना नहीं है। इसके बाद मेला कमेटी की ओर से उन्हे कार्यक्रम देने से मौखिक रूप से साफ इंकार कर दिया गया। युवा मंडल के सदस्यों के अनुसार उनका दल कई दिनों से मंडी में होटल में ठहरा है। जिसमें उनका काफी खर्चा भी हो रहा है। लेकिन मेला कमेटी के साफ इंकार कर देने के चलते अब युवा मंडल ने कानूनी नोटिस का सहारा लिया है। युवा मंडल के अनुसार एक कलाकार को बिना आडिशन से कार्यक्रम दे दिया गया है। इसके अलावा भी कई अन्य कलाकार बिना आडिशन से कार्यक्रम दे रहे हैं। युवा मंडल का कहना है कि उनके साथ धोखाधडी हुई है और कलाकारों के चयन में भ्रष्टाचार चल रहा है। युवा मंडल के अधिवक्ता समीर कश्यप ने मेला कमेटी को नोटिस देने की पुष्टि करते हुए बताया कि कमेटी से मांग की गई है कि इस दल को शिवरात्री की बची हुई संध्याओं में कार्यक्रम दिया जाए अन्यथा दल को न्यायलय का रास्ता अखतियार करना पडेगा।

प्रदेश के वार्षिक बजट की सराहना की


मंडी। मुखयमंत्री वीरभद्र सिंह द्वारा पेश किये गए बजट में सभी वर्गों का ध्यान रखा गया है। नगर परिषद के पूर्व पार्षद अन्नू शर्मा, आशा चोपडा, आनंद कुमार, पुष्प राज शर्मा, राजेन्द्र मोहन, विकास कपूर, यशकांत कश्यप, अभिजीत डोगरा, योगेश कुमार और राजा महेन्द्रु ने मुखयमंत्री द्वारा पेश वर्ष 2013 के बजट की सराहना की है। यह बजट हर वर्ग के लिए लाभकारी और फायदा देने वाला है। कांग्रेसी नेताओं ने बजट का स्वागत किया है।

Thursday 14 March 2013

शिवरात्री मेले में पहली बार आए हैं रूषाडा गाड के प्राचीन देव शिव शंकर


मंडी। अंतराष्ट्रीय शिवरात्री महोत्सव में इस वर्ष सिराज क्षेत्र के प्राचीन देवता रूषाडा गाड (पांडव शिला) के देवता शिव शंकर भी भाग ले रहे हैं। इस प्राचीन देवता का मूल स्थान करीब 9000 फीट की ऊंचाई पर देवदार के शंकर जंगल में स्थित है। इस देवता की हार पांडव शिला, भजनार, धार, दाऊंट, कोठी, घनेहड, खुलाट, सरार और गरेई गांवों में फैली हुई है। देव शिव शंकर की शुरूआत जठेल और खुलाण खानदानों से मानी जाती है। अनुश्रुती के अनुसार रूषाडा गाड गांव के खुलाण खानदान का एक बुजुर्ग धान खरीदने के लिए करसोग गया हुआ था। जहां से वापिसी में लौटते समय उन्हे खड्ड में एक अंडाकार पत्थर दिखाई दिया तो चटनी आदि बनाने की मंशा से इसे अपने साथ ले आया। अभी बुजुर्ग का घर कुछ ही दूरी पर था तो उसने रास्ते में जंगल में विश्राम किया। लेकिन जब घर जाने के लिए चलने लगा तो वह पत्थर को वहां से उठा नहीं सका। अगले दिन फिर से जब बुजुर्ग इस पत्थर को लाने गया तो इसका आकार बढ गया था। जिससे वह पत्थर नहीं ला सका। इसके कुछ दिनों के बाद जठेल खानदान की एक गाय जब दूध नहीं देने लगी तो इसका कारण जानने के लिए गाय का पीछा किया गया। गाय का पीछा करने पर पता चला कि गाय उसी पत्थर पर दुध गिरा रही थी। देवता ने गुर के माध्यम से अपना नाम शिव शंकर बताया। इसके बाद से गांव वालों ने इस पत्थर की पूजा करनी शुरू कर दी। शिव शंकर के प्रकट होने पर स्थानिय लोगों ने इस शिवलिंग के पास काष्ठनुमा मंदिर का निर्माण किया है। देव शिव शंकर के भक्तों के अनुसार इस शिवलिंग का आकार निरंतर बढ रहा है और इस समय इसका आकार करीब 25 फुट तक हो गया है। देव शिव शंकर की देवता कमेटी के सदस्य दलीप चंद, राम लाल, कमल देव ठाकुर, नरेश ठाकुर और कुलदीप ठाकुर ने बताया कि देवता के पास दोनों हारों के मेले लगते हैं। रूषाड गाड हार का काहुली धार में 20 अप्रैल को मेला लगता है। जबकि पांडव शिला हार का रिंजू मैदान में 16 आषाढ को मेला लगता है। इसके अलावा हर दिन मंदिर में श्रधालुओं का तांता लगा रहता है।

Wednesday 13 March 2013

अंतर्राष्ट्रीय शिवरात्री महोत्सव मे कुश्ती प्रतियोगिता 15 मार्च से


मंडी। अंतराष्ट्रीय शिवरात्री महोत्सव के दौरान कुश्ती प्रतियोगिता का आयोजन किया जाएगा। यह आयोजन पडडल मैदान में 15, 16 और 17 मार्च को किया जाएगा। अंतराष्ट्रीय शिवरात्री कुश्ती आयोजन समिती के सह संयोजक जानकी दास डोगरा ने बताया कि 15 मार्च को हिमाचल कुमार के खिताब के लिये हिमाचल प्रदेश के 21 वर्ष से कम आयु के पहलवान भाग लेंगे। जिसमें विजेता को 15,000 रूपये व गुर्ज तथा उपविजेता को 11000 रूपये नकद इनाम दिया जाएगा। उन्होने बताया कि बडी माली कुश्तियों के मुकाबले 16 और 17 मार्च को होंगे। जिसमें विजेता को 51,000 रूपये व गुर्ज और उपविजेता को 35000 रूपये का पारितोषिक दिया जाएगा। उन्होने बताया कि पहलवानों की लंबे समय से चली आ रही मांग को ध्यान में रखते हुए मेला कमेटी व उपायुक्त मंडी देवेश कुमार ने कुश्तियों का आयोजन अखाडा (मिट्टी) में करवाने का निर्णय लिया है। जानकी दास डोगरा ने बताया कि प्रतियोगिता के उदघाटन समारोह के मुखय अतिथी जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह होंगे। जबकि समापन समारोह की अध्यक्षता उपायुक्त मंडी देवेश कुमार करेंगे। उन्होने बताया कि 21 वर्ष की कम आयु की हिमाचल कुमार की कुश्ती में पुलिस अधीक्षक आर एस नेगी बतौर मुखय अतिथी मौजूद होंगे।

अरबन बैंक मामले में आधा दर्जन पदाधिकारी दोषी करार


मंडी। अरबन बैंक में हुए करोडों रूपये के बहुचर्चित घोटाले के मामले में अदालत ने बैंक के अध्यक्ष सहित बोर्ड आफ डायरेक्टरस के 6 सदस्यों को विश्वासघात और आपराधिक षडयंत्र का दोषी करार दिया है। हालांकि इस मामले में बैंक के कर्मियों व पूर्व पदाधिकारियों के खिलाफ अभियोग साबित न होने पर उन्हे बरी करने के आदेश दिये हैं। अदालत ने सजा की अवधि पर सुनवाई के लिए अब 19 मार्च की तारीख निश्चित की है। जिला एवं सत्र न्याधीश वीरेन्द्र सिंह के न्यायलय ने बहुचर्चित अरबन बैंक घोटाले का फैसला सुनाते हुए बैंक के तात्कालीन अध्यक्ष महिन्द्र पाल सैहगल, अजीत कपूर, मनजीत सिंह धमीजा, महेश बहल, नितिन कपूर और अनिल कपूर के खिलाफ भादंसं की धारा 409 और 120 के तहत आपराधिक षडयंत्र के तहत विश्वासघात करने का दोषी करार दिया। हालांकि इस मामले के सहआरोपी बैंक के कर्मियों व पूर्व पदाधिकारियों चंद्र भूषण बहल, हेमंत राज वैद्या, अशोक कुमार कपूर, हर विलास बहल, हेमंत कपूर, देव रथ कपूर, गोपाल कपूर, भूप सिंह, प्रवीण कुमार मल्होत्रा और भगत राम के खिलाफ अभियोग साबित न होने पर उन्हे बरी करने का फैसला सुनाया गया। उल्लेखनीय है कि बैंक की वितिय अनियमितताओं के सामने आने पर सदर थाना पुलिस ने 1 अप्रैल 2005 को प्राथमिकी दर्ज करके तहकीकात शुरू की थी। पुलिस ने आरोपियों को हिरासत में लेने के बाद अदालत में अभियोग चलाया था। अभियोग के पूरा हो जाने पर बुधवार को यह मामला फैसले पर रखा था। उल्लेखनीय है कि अरबन बैंक में करोडों रूपये का घोटाला होने के बाद यह बैंक बंद करना पडा था। जिसके बाद निवेशकों ने लंबा संघर्ष छेड कर बैंक को पटरी पर लाने की भी जदोजहद शुरू की थी। इसी के परिणामस्वरूप बैंक को जहां एक ओर बंद होने से बचा लिया गया था। वहीं पर दूसरी ओर निवेशकों को बैंक घोटाले के संदर्भ में दर्ज आपराधिक मामले के फैसले का बेसब्री से इंतजार था। इधर, बुधवार को अदालत ने आरोपियों को दोषी करार देने का निर्णय सुनाया जबकि सजा की अवधि पर सुनवाई के लिए अब 19 मार्च की तारीख निश्चित की है।

Monday 11 March 2013

पुलिस बर्बरता के खिलाफ अधिवक्ताओं ने किया विरोध प्रदर्शन


मंडी। जयपुर और चंडीगढ में वकीलों पर पुलिस की बर्बरता के खिलाफ जिला बार एसोसिएशन ने विरोध प्रदर्शन किया। इस दौरान अधिवक्ताओं ने अदालती कार्यवाही का बाहिष्कार किया। सोमवार सुबह ही न्यायलय परिसर में अधिवक्ताओं का एकत्र होना शुरू हो गया। जिसके बाद न्यायलय परिसर में एक जनसभा का आयोजन किया गया। जनसभा को संबोधित करते हुए प्रदेश बार कौंसिल के सदस्य देश राज ने इन घटनाओं को शर्मनाक करार देते हुए इसे लोकतंत्र का हनन बताया। उन्होने कहा कि जिस अमानुषिक ढंग से अधिवक्ताओं से व्यवहार किया गया यह एक शर्मनाक कृत्य है। प्रदेश बार कौंसिल के उपाध्यक्ष नरेन्द्र गुलेरिया ने कहा कि इन दोनो जगहों पर निहत्थे अधिवक्ताओं पर लाठीचार्ज करना निहायत ही शर्मनाक घटनाएं हैं। उन्होने कहा कि इन घटनाओं में संलिप्त पुलिस कर्मियों के खिलाफ कडी कार्यवाही की जाए। जिला बार एसोसिएशन के महासचिव लोकेन्द्र कुटलैहडिया ने बताया कि बार कौंसिल आफ इंडिया के अखिल भारतीय आहवान पर सोमवार को अदालतों की कार्यवाहियों का बाहिष्कार किया गया और अधिवक्ताओं ने अदालती कारवाहियों में भाग नहीं लिया। उन्होने कहा कि 11 मार्च को जयपुर और चंडीगढ में अधिवक्ताओं पर हुए बर्बर हमले के खिलाफ देश भर के अधिवक्ताओं ने अदालती कार्यवाहियों का बाहिष्कार किया है। जनसभा के बाद अधिवक्ताओं ने मंडी शहर में जुलूस निकाल कर इन कार्यवाहियों का विरोध करते हुए जमकर नारेबाजी की। महासचिव ने बताया कि बार एसोसिएशन ने इन घटनाओं पर अपना विरोध जताते हुए दोषियों के खिलाफ कडी कार्यवाही करने के लिए बार कौंसिल आफ इंडिया, प्रदेश बार कौंसिल और प्रदेश उच्च न्यायलय को ज्ञापन प्रेषित किया है।

Sunday 10 March 2013

नैनो विक्रेता को 30 दिनों में कार ठीक करने के आदेश



मंडी। जिला उपभोक्ता फोरम ने विक्रेता को उपभोक्ता की नैनो कार 30 दिनों में ठीक करके सौंपने के आदेश दिये। इसके अलावा उपभोक्ता की कार को गैरकानूनी तरीके से अपने पास रखने को विक्रेता की सेवाओं में कमी मानते हुए 125 रूपये प्रतिदिन के हिसाब से हर्जाने की अदायगी करने के आदेश भी दिये। जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्य रमा वर्मा ने औट निवासी यादविन्द्र शर्मा पुत्र परम देव शर्मा की शिकायत को उचित मानते हुए सदर उपमंडल के लुणापाणी स्थित विक्रेता मैसर्ज सतलुज मोटरस को उपभोक्ता से वसूली गई वाहन की 448 रूपये की रिपेयर राशि लौटाने के आदेश दिये। इसके अलावा वाहन को 30 दिनों में बिना कोई राशि वसूले ठीक करने उपभोक्ता को सौंपने के भी आदेश दिये। फोरम ने विक्रेता द्वारा उपभोक्ता के वाहन को 12 जनवरी 2012 से अवैध तरीके से अपने पास रखने और सेल सर्टिफिकेट जारी न करने पर प्रतिदिन के 125 रूपये रूपये बतौर हर्जाना अदा करने के आदेश दिये। वहीं पर आदेश से 30 दिनों के भीतर उपभोक्ता के पक्ष में सेल सर्टिफिकेट भी जारी करने के निर्देश दिये हैं। फोरम ने विक्रेता को उपभोक्ता के पक्ष में 2000 रूपये शिकायत व्यय भी देने को कहा है। अधिवक्ता पुष्प राज शर्मा के माध्यम से फोरम में दायर शिकायत के अनुसार उपभोक्ता ने उक्त विक्रेता से नैनो कार खरीदी थी। लेकिन विक्रेता की ओर से उन्हे सेल सर्टिफिकेट जारी नहीं किया गया। इसके अलावा वाहन में खराबी आने पर उनसे रिपेयर चार्जेस वसूल किये गये। यही नहीं रिपेयर करने के बाद विक्रेता ने उसका वाहन उन्हे सौंपा ही नहीं। जिसके कारण उपभोक्ता को भारी परेशानी का सामना करना पडा। ऐसे में उपभोक्ता ने फोरम में शिकायत दर्ज करवाई थी। फोरम ने विक्रेता द्वारा उपभोक्ता से वारंटी अवधि में रिपेयर चार्ज वसूल करने, सेल सर्टिफिकेट जारी न करने और गैरकानूनी तरीके से वाहन को अपने पास रखने को विक्रेता की सेवाओं में कमी माना। जिसके चलते फोरम ने विक्रेता को यह वाहन तीस दिन में ठीक करके उपभोक्ता को सेल सर्टिफिकेट सहित सौंपने और हर्जाना व राशि लौटाने के अलावा शिकायत व्यय भी अदा करने का फैसला सुनाया।

Saturday 9 March 2013

महिला दिवस पर जिला अदालत में कार्यक्रम आयोजित


मंडी। अंतराष्ट्रीय महिला दिवस पर जिला न्यायलय में एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। बार रूम में आयोजित इस कार्यक्रम की अध्यक्षता जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह ने की। इस अवसर पर उन्होने कहा कि ऐसा देखा गया है कि महिला के शोषण के पीछे एक महिला भी होती है। ऐसे में हमें अपने मानसिकता का बदलाव करना चाहिए। मुखय न्यायिक दंडाधिकारी मदन कुमार ने कहा कि महिलाओं का सशक्तिकरण शिक्षा से हो सकता है। न्यायिक दंडाधिकारी प्रथम श्रेणी कोर्ट नंबर दो राजेश चौहान ने भी महिलाओं में शिक्षा की जागरूकता पर बल दिया। न्यायिक दंडाधिकारी कोर्ट नंबर तीन उपासना शर्मा ने इतिहास में दर्ज महिलाओं के योगदान की चर्चा की। जबकि न्यायिक दंडाधिकारी कोर्ट नंबर चार गीतिका कपिला ने भी महिला को जागरूक हो कर अन्याय से लडने का आहवान किया। जिला बार एसोसिएशन के महासचिव लोकेन्द्र कुटलैहडिया ने बताया कि इस अवसर पर अधिवक्ता अलकनंदा हांडा, प्रिया कपूर और लोकेश कपूर ने भी महिलाओं की मौजूदा स्थिती और भविष्य को लेकर चर्चा की। कार्यक्रम में जिला न्यायलय, उपायुक्त कार्यालय और पुलिस महिला कर्मियों सहित जिला बार एसोसिएशन के पदाधिकारी और सदस्य भी मौजूद थे।

छेडखानी के आरोपी को डेढ साल की कठोर कारावास


मंडी। महिला से छेडखानी का अभियोग साबित होने पर अदालत ने एक आरोपी को डेढ साल की कठोर कारावास और 10,000 रूपये जुर्माने की सजा सुनाई। आरोपी से मिली जुर्माना राशि को पीडिता के पक्ष में अदा किया जाएगा। जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह के न्यायलय ने सदर उपमंडल के गहरी गांव निवासी मोहन लाल पुत्र सेवक राम के खिलाफ भादंसं की धारा 354, 324, 323 और 341 के तहत छेडखानी, मारपीट करके घायल करने और रास्ता रोकने का अभियोग साबित होने पर क्रमश: डेढ साल के कठोर, 6 माह, 2 माह और 10 दिनों के साधारण कारावास और क्रमश: पांच, तीन और दो हजार रूपये जुर्माने की सजा सुनाई। ये सभी सजाएं एक साथ चलेंगी। अभियोजन पक्ष के अनुसार उप तहसील कोटली के निचली सुराडी (सुराडी) गांव की पीडिता 16 सितंबर 2008 को शाम के समय गाय से दूध निकालने अपनी गोहड में गई थी। इसी दौरान गोहड से वापिस लौटते समय उसे घर के नजदीक रास्ते में आरोपी मिला। उक्त आरोपी ने महिला का रास्ता रोककर उसे बाजू से पकड कर जमीन पर फैंक दिया। जिससे महिला के माथे पर चोट पहुंची। उक्त आरोपी ने महिला से छेडखानी भी की। आरोपी के चंगुल से छुटने के बाद महिला अपने घर में पहुंची और अपने पति को घटना के बारे में बताया। जिसके बाद पीडिता और उसके पति ने सदर थाना में आकर घटना की शिकायत दर्ज करवाई थी। पुलिस ने मामला दर्ज करके आरोपी को हिरासत में लेने के बाद अदालत में अभियोग चलाया था। अभियोजन पक्ष की ओर से पैरवी करते जिला न्यायवादी जे के लखनपाल ने इस मामले में 6 गवाहों के ब्यान दर्ज करके इसे साबित किया। अदालत ने अपने फैसले में कहा कि अभियोजन पक्ष की ओर से प्रस्तुत किये गए साक्ष्यों से आरोपी पर छेडखानी, मारपीट और रास्ता रोकने का अभियोग साबित हुआ है। जिसके चलते अदालत ने उक्त कारावास और जुर्माने की सजा का फैसला सुनाया। इसके अलावा अदालत ने आरोपी से वसूली गई जुर्माना राशि को पीडिता के पक्ष में अदा करने के भी आदेश दिये हैं।

Thursday 7 March 2013

शावेज के निधन पर इप्टा करेगी शुक्रवार को शोक सभा


मंडी। वेनेजुएला के राष्ट्रपति हयुगो शावेज के आकस्मिक देहांत पर इंडियन पीपलस थियेटर एसोसिएशन शुक्रवार को शोक सभा आयोजित करेगी। इप्टा के संयोजक लवण ठाकुर ने बताया कि लातिन अमेरिका के वेनेजुएला के राष्ट्रपति हयुगो शावेज के निधन पर इप्टा की ओर से आर्यन बैंगलो होटल में दोपहर 12 बजे एक शोक सभा आयोजित की जाएगी। उन्होने बताया कि शावेज दुनिया भर के गरीबों के अधिकारों के लिए संघर्ष करने वाले अगुवा नेता थे।

चरस सहित पकडे तीन आरोपी जमानत पर रिहा


मंडी। चरस सहित पकडे गए दो मामलों के तीन आरोपियों को अदालत ने जमानत पर रिहा करने के आदेश दिये हैं। आरोपियों से बरामदशुदा चरस व्यवसायिक मात्रा से कम होने के कारण अदालत ने उन्हे सशर्त रिहा करने के आदेश दिये। जिला एवं सत्र न्यायधीश वीरेन्द्र सिंह की विशेष अदालत ने लाहौल स्पिति जिला के गोंधला निवासी नामगयाल शेरिंग पुत्र अमर चंद से पुलिस तहकीकात शेष न होने के कारण उसे डेढ लाख रूपये की जमानती और व्यक्तिगत राशियों पर रिहा करने के आदेश दिये। उल्लेखनीय है कि सदर थाना पुलिस के दल ने 25 फरवरी को एएसआई स्वरूण रूप सिंह की अगुवाई में राष्ट्रीय राजमार्ग 21 पर कवारी के पास पंडोह की ओर से आ रहे आरोपी के कब्जे से 140 ग्राम चरस बरामद करके उसे हिरासत में लिया था। इधर, मादक एवं नशीले पदार्थ अधिनियम के तहत हिरासत में लिए गए एक अन्य मामले के दो आरोपियों को भी अदालत ने जमानत पर रिहा करने के आदेश दिये हैं। फास्ट ट्रैक कोर्ट के पीठासीन अधिकारी पदम सिंह ठाकुर की विशेष अदालत ने थुनाग तहसील के घाट (च्युणी) निवासी निर्मल सिंह पुत्र कमल देव और घयार (च्युणी) निवासी धन देव पुत्र पुर्ण चंद से पुलिस तहकीकात शेष न होने के कारण उन्हे तीन-2 लाख रूपये की दो-दो जमानती और व्यक्तिगत राशियों सहित रिहा करने के आदेश दिये। इसके अलावा अदालत ने याचिकाओं को स्वीकारते हुए दोबारा इस तरह का अपराध न करने और मामले के सबूतों से छेडछाड न करने की हिदायतें भी दी है। उल्लेखनीय है कि गोहर थाना पुलिस ने 13 फरवरी को नाकाबंदी के दौरान आरोपियों के कब्जे से क्रमश: 700 और 800 ग्राम चरस बरामद करके उन्हे हिरासत में लिया था। आरोपियों की ओर से इन जमानत याचिकाओं की पैरवी अधिवक्ता समीर कश्यप और अधिवक्ता हेम सिंह ठाकुर ने की।

Wednesday 6 March 2013

इंजिनियरिंग कालेज को छात्रा की सिक्योरिटी राशि ब्याज सहित लौटाने के आदेश


मंडी। सिक्योरिटी राशि वापिस न लौटाने को सेवाओं में कमी करार देते हुए जिला उपभोक्ता फोरम ने इंजिनियरिंग कालेज को छात्र के पक्ष में 8000 रूपये की राशि ब्याज सहित अदा करने के आदेश दिये। इसके अलावा कालेज की सेवाओं में कमी के कारण उपभोक्ता को हुई परेशानी के बदले 1500 रूपये हर्जाना और 1500 रूपये शिकायत व्यय भी अदा करने के आदेश दिये। जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष राजीव भारद्वाज और सदस्य रमा वर्मा ने सदर तहसील के नेला (दुदर) निवासी गीतिका पुत्री अशोक कुमार की शिकायत को उचित मानते हुए चच्योट तहसील के बाढू स्थित एम जी इंजिनियरिंग एवं तकनीकी संस्थान के अध्यक्ष को उपभोक्ता के पक्ष में उक्त राशि का भुगतान 9 प्रतिशत ब्याज सहित अदा करने के आदेश दिये। अधिवक्ता पुष्प राज शर्मा के माध्यम से फोरम में दायर शिकायत के अनुसार उपभोक्ता ने उक्त संस्थान ने वर्ष 2008 में कंप्युटर साईंस और इंजिनियरिंग बी टैक में प्रवेश लिया था। उपभोक्ता ने कालेज सिक्योरिटी, लाईब्रेरी सिक्योरिटी, हास्टल सिक्योरिटी और कोर्स के दौरान कोट के लिये क्रमश: दो-दो हजार रूपये की 8000 रूपये की राशि जमा करवाई थी। उपभोक्ता को संस्थान की ओर से न ही कोट जारी किया गया और न ही यह राशि पढाई पूरी होने के बाद वापिस लौटाई गई। जिसके चलते उपभोक्ता ने फोरम में शिकायत दर्ज करवाई थी। फोरम की कार्यवाही में संस्थान की ओर से भाग न लेने पर एकतरफा कार्यवाही अमल में लाई गई। फोरम ने अपने फैसले में कहा कि संस्थान के कार्यवाही में भाग न लेने से उपभोक्ता के तर्कों को खारिज नहीं किया जा सका। इसके अलावा उपभोक्ता ने शपथ पत्र ने दस्तावेजों के साथ शिकायत को दायर किया है। जबकि संस्थान की ओर से अपना पक्ष रखा ही नहीं गया ऐसे में उपभोक्ता के तथ्यों पर विश्वास किया जा सकता है। फोरम ने निष्कर्ष पर पहुंचते हुए संस्थान के सिक्योरिटी राशि को वापिस न लौटाने को सेवाओं में कमी करार देते हुए उक्त राशि ब्याज सहित अदा करने के अलावा हर्जाना और शिकायत व्यय भी अदा करने का फैसला सुनाया।

Friday 1 March 2013

कुआं मिट्टी से भर देने पर उपायुक्त को ज्ञापन


मंडी। बल्ह क्षेत्र के ढाबण गांव में सरकारी जमीन पर बने कुएं को मिट्टी से ढक देने से स्थानिय वासियों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड रहा है। स्थानिय वासियों ने उपायुक्त मंडी को ज्ञापन सौंपकर इसे बहाल करने की मांग की है। ढाबण गांव निवासी शबनम बीबी, शमशाद बेगम, फकीरा, सलमा और परवेज की अगुवाई में एक प्रतिनिधिमंडल ने उपायुक्त मंडी को इस बारे में ज्ञापन सौंपा है। प्रतिनिधिमंडल के अनुसार कुएं की बहाली न हो पाने से करीब आधा दर्जन परिवारों को अपने प्रयोग करने और मवेशियों के लिए पानी उपलब्ध न होने से भारी परेशानी का सामना करना पड रहा है। स्थानिय वासियों के अनुसार इससे पहले भी उपायु्कत मंडी को शबनम बीबी की ओर से एक ज्ञापन सौंप कर कुएं को बंद करने के बारे में सूचित किया था। इस कुएं को गांव वासी कई सालों से प्रयोग कर रहे हैं। प्रशासन की ओर से अतिरिक्त जिला दंडाधिकारी ने उपमंडलाधिकारी को निर्देश जारी करके आपराधिक प्रक्रिया संहिता की धारा 133 के तहत कार्यवाही करने के निर्देश दिये थे। उपमंडलाधिकारी सदर ने इस मामले को आगे कार्यवाही के लिए बल्ह थाना प्रभारी को प्रेषित करके तुरंत मौका की छानबीन करके उचित कार्यवाही अमल में लाने के बाद इस बारे में विस्तृत रिर्पोट पेश करने के निर्देश दिये थे। लेकिन अभी तक इस मामले में कोई कार्यवाही न होने पर स्थानिय वासियों ने उपायुक्त मंडी को फिर से ज्ञापन सौंप कर कुएँ को जल्द से जल्द बहाल करने की मांग की है।

आत्महत्या को प्रेरित करने की आरोपी सास को मिली जमानत


मंडी। विवाहिता को प्रताडित करके आत्महत्या को प्रेरित करने के मामले में अदालत ने आरोपी सास को जमानत पर रिहा करने के आदेश दिये हैं। अदालत ने पुलिस तहकीकात में शामिल रहने और मामले के सबूतों से छेडखानी न करने के निर्देशों सहित आरोपी को जमानत दी है। फास्ट ट्रैक कोर्ट के पीठासीन अधिकारी पदम सिंह ठाकुर के न्यायलय ने जोगिन्द्र नगर तहसील के धुरली (समौण) निवासी कमला देवी पत्नी फागणु राम की जमानत याचिका को स्वीकारते हुए 10,000 रूपये की जमानती और व्यक्तिगत जमानती राशियों पर रिहा कर दिया। उल्लेखनीय है कि जोगिन्द्र नगर थाना पुलिस ने विवाहिता के आत्महत्या करने पर आरोपी सास के खिलाफ 15 फरवरी 2013 को भादंसं की धारा 498-ए और 306 के तहत मामला दर्ज करके उसे हिरासत में लिया था। याचिकाकर्ता आरोपी महिला की ओर से अधिवक्ता राजेश कुमार के माध्यम से दायर जमानत याचिका के अनुसार आरोपी को इस मामले में झूठा फंसाया गया है। आरोपी सास ने विवाहिता को आत्महत्या के लिये प्रेरित नहीं किया था। जबकि अभियोजन पक्ष का याचिका के जवाब में कहना था कि विवाहिता के साथ उसकी सास मारपीट करती रहती थी। जिसके कारण विवाहिता ने आत्महत्या की है। अदालत ने दोनो पक्षों की ओर से सुनवाई के बाद कहा याचिका के फैसले में कहा कि याचिकाकर्ता की आयु 65 वर्ष है। इसके अलावा सास-बहु के बीच छोटे मोटे कहासुनी के अलावा आत्महत्या को प्रेरित करने के बारे में कोई तथ्य सामने नहीं आया है। ऐसे में अदालत ने याचिका को स्वीकार करके उसे दस-2 हजार रूपये की जमानती और व्यक्तिगत राशियों पर सशर्त रिहा करने का आदेश दिया।

मंडी में बनाया जाए आधुनिक पुस्तकालयः शहीद भगत सिंह विचार मंच

मंडी। प्रदेश की सांस्कृतिक और बौद्धिक राजधानी मंडी में आधुनिक और बेहतरीन पुस्तकालय के निर्माण की मांग की गई है। इस संदर्भ में शहर की संस्...